Donald Trump-Elon Musk: अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) को शपथ ग्रहण के कुछ ही समय बाद एक बड़ा कानूनी संघर्ष सामना करना पड़ा है। अमेरिकन फेडरेशन ऑफ गवर्नमेंट एम्पलॉइज (AFGE) और नॉन-प्रॉफिट संगठन पब्लिक सिटिजन ने ट्रंप प्रशासन की डिपार्टमेंट ऑफ गवर्नमेंट एफीशिएंसी (DOGE) योजना को लेकर अदालत में मामला दायर किया है। इस योजना का नेतृत्व एलन मस्क कर रहे हैं, जो प्रमुख रूप से सरकारी खर्चों में बड़ी कटौती का प्रस्ताव दे रहे हैं।
DOGE योजना का उद्देश्य और उसके प्रभाव
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बताते चले कि, ट्रंप प्रशासन की DOGE योजना का उद्देश्य सरकारी खर्चों में 2 ट्रिलियन डॉलर की कटौती करना है। इस प्रस्तावित योजना ने सरकारी कर्मचारियों के बीच चिंता का माहौल बना दिया है, क्योंकि वे नौकरी जाने की संभावना को लेकर भयभीत हैं। AFGE ने दावा किया है कि DOGE योजना संघीय नियमों का उल्लंघन कर रही है और इस मामले में कोर्ट से यह अपील की है कि जब तक योजना सभी जरूरी नियमों का पालन नहीं करती, इसे सलाहकार समिति की तरह कार्य करने से रोका जाए।
एलन मस्क की भूमिका और कर्मचारियों पर प्रभाव
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आपको बता दे कि, DOGE योजना का नेतृत्व अरबपति उद्योगपति एलन मस्क कर रहे हैं, और उनकी योजनाओं को लेकर सरकारी कर्मचारियों में असंतोष और चिंता बढ़ गई है। AFGE का कहना है कि मस्क की योजनाएं कर्मचारियों की नौकरियों और उनके अधिकारों को नुकसान पहुंचा सकती हैं। संगठन का मानना है कि इस तरह की कटौती सरकारी कर्मचारियों के रोजगार के लिए खतरा बन सकती है, जिससे उनका भविष्य अनिश्चित हो सकता है।
ट्रंप का शपथ ग्रहण और प्राथमिक एजेंडा
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20 जनवरी को डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने अपने शपथ ग्रहण के बाद अपने पहले संबोधन में इसे ‘लिबरेशन डे’ बताया और घोषणा की कि अमेरिका का ‘स्वर्ण युग’ अब शुरू हो गया है। ट्रंप ने अपने प्राथमिक एजेंडे ‘अमेरिका प्रथम’ पर जोर दिया और यह कहा कि वे अमेरिका को सुरक्षित, किफायती और ऊर्जा के क्षेत्र में अग्रणी बनाने के लिए साहसिक कदम उठाएंगे। इसके साथ ही उन्होंने बाइडन प्रशासन की नीतियों को बदलने और सीमा सुरक्षा को मजबूत करने के लिए कई कार्यकारी आदेशों की घोषणा भी की।
इस कानूनी लड़ाई और ट्रंप प्रशासन के कदमों को लेकर आने वाले दिनों में और भी विवाद पैदा हो सकते हैं, जो देश के सरकारी कर्मचारियों और उनके भविष्य को प्रभावित कर सकते हैं।