Dhar Bhojshala:UP के ज्ञानवापी में एएसआई की सर्वे के बाद मध्य प्रदेश के धार जिले में स्थित विवादास्पद भोजशाला का सर्वे करना पहुंच चुके है। वहीं सर्वे का आज पांचवां दिन है।आज एएसआई दिल्ली और भोपाल के आला अधिकारी सुबह 7 बजे भोजशाला परिसर में पहुंच चुके हैं। दरअसल भोजशाला/कमाल मौला मस्जिद परिसर का सर्वेक्षण शुरू कर दिया है। इसके बाद मुस्लिम समाज के प्रतिनिधि ने सर्वे करने वाली टीम में एक ही वर्ग के लोगों के होने पर आपत्ति दर्ज कराई है।जिसके बाद मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ के आदेश पर एएसआई ने शुक्रवार को भोजशाला में सर्वे शुरू कर दिया था। वहीं एएसआई ने ये कदम एमपी हाईकोर्ट के आदेश के बाद उठाया था।
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ये पूजा-पाठ हिंदू समाज के द्वारा किया जाएगा
बता दें कि मंगलवार यानी की आज टीम सुबह-सुबह पहुंच गई है। टीम ने एक स्तंभ का परीक्षण किया और कागज पर उसकी आकृति भी बनाई। मुस्लिम और हिंदू पक्ष के प्रतिनिधियों की मौजूदगी में यह सर्वे कार्य चल रहा है। इस दौरान धार की ऐतिहासिक भोजशाला में आज सत्याग्रह होगा, जिसके तहत हनुमान चालीसा और अन्य पाठ किए जाएंगे। ये पूजा-पाठ हिंदू समाज के द्वारा किया जाएगा, जिसके लिए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग ने अनुमति दी है।
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मुस्लिम समाज ने लगाया आरोप
वहीं मुस्लिम समाज के एक प्रतिनिधि ने आरोप लगाया है कि-” सर्वे के लिए जो टीम आई हुई हैं, उसमें एक ही वर्ग (कम्युनिटी) के लोगों को रखा गया है, जबकि इसमें दोनों कम्युनिटी के लोग होने चाहिए। भोजशाला में मंदिर और मस्जिद को लेकर वर्षों से विवाद चल रहा है। भोजशाला एएसआई के अधीन संरक्षित स्मारक है। यहां साल 2003 में ऐसी व्यवस्था की गई, जिसके तहत शुक्रवार को नमाज होती है और मंगलवार को पूजा।
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हिंदू पक्ष का दावा
वहीं इस भोजशाला को लेकर हिंदू पक्ष का दावा है कि पहले वहां हिंदू मंदिर (वाग्देवी) हुआ करता था, इस साल 1030 में राजा भोज ने संस्कृत की पढ़ाई के लिए उस स्थान पर भोजशाला का निर्माण करवाया था लेकिन, बाद में मुस्लिम आक्रांताओं ने उसे तोड़कर वहां मस्जिद बनवा दिया।