Justice Prasanna B Varale: कर्नाटक हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश प्रसन्ना भालचंद्र वराले को सुप्रीमकोर्ट का जज नियुक्त किया गया है. कर्नाटक हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश पी बी वराले को बुधवार को सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश के रूप में नियुक्त किया गया. उनके शपथ लेते ही शीर्ष अदालत में न्यायाधीशों की संख्या पूर्ण हो गई है. एक सरकारी अधिसूचना से यह जानकारी मिली. सुप्रीम कोर्ट में प्रधान न्यायाधीश सहित न्यायाधीशों की कुल स्वीकृत संख्या 34 है.
इस महीने की शुरुआत में उनके नाम की सिफारिश करते समय सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने कहा था कि उसने इस तथ्य को ध्यान में रखा कि वह उच्च न्यायालय के वरिष्ठतम न्यायाधीशों में से एक हैं. कॉलेजियम ने यह भी कहा था कि वह उच्च न्यायालय के एकमात्र मुख्य न्यायाधीश हैं जो अनुसूचित जाति से हैं।
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अनुसूचित जाति से आने वाले तीसरे न्यायाधीश
शीर्ष अदालत के मौजूदा न्यायाधीशों में वह अनुसूचित जाति समुदाय से संबंधित तीसरे न्यायाधीश हैं, दो अन्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति बी.आर.गवई और न्यायमूर्ति सी.टी.रविकुमार हैं.पिछले महीने न्यायमूर्ति एस.के कौल की सेवानिवृत्ति के बाद शीर्ष अदालत में एक पद रिक्त हुआ था.न्यायमूर्ति वराले की नियुक्ति कॉलेजियम द्वारा उनके नाम की सिफारिश करने के एक सप्ताह के भीतर ही कर दी गई।
केंद्रीय कानून मंत्री ने जताई खुशी
सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने सुप्रीमकोर्ट के परिसर में आयोजित एक कार्यक्रम में न्यायमूर्ति प्रसन्ना भालचंद्र वराले को पद की शपथ दिलाई.केंद्र सरकार ने बुधवार को न्यायमूर्ति भालचंद्र वराले को सुप्रीमकोर्ट में जज के तौर पर नियुक्त करने की मंजूरी दी थी। केंद्रीय कानून और न्याय राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने एक्स हैंडल पर कहा कि,भारत के माननीय मुख्य न्यायाधीश के साथ परामर्श के बाद कर्नाटक हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति प्रसन्ना भालचंद्र वराले को न्यायाधीश के रूप में नियुक्त करते हुए उन्हें प्रसन्नता हो रही है।
जस्टिस संजय किशन कौल के रिटायर होने के बाद से खाली था पद
आपको बता दें कि,61 वर्षीय जस्टिस वराले महाराष्ट्र के औरंगाबाद में डॉ.बाबासाहेब अंबेडकर मराठवाड़ा विश्वविद्यालय से स्नातक हैं.लंबे समय तक इन्होंने कानून का अभ्यास किया.अक्टूबर 2022 में न्यायमूर्ति प्रसन्ना भालचंद्र वराले ने कर्नाटक हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रुप में शपथ ली थी.सुप्रीमकोर्ट में न्यायमूर्ति संजय किशन कौल की दिसंबर में सेवानिवृत्ति के बाद से ये पद खाली था जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट के न्यायमूर्ति के रुप में प्रसन्ना भालचंद्र वराले की नियुक्ति की गई है।
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