Udaipur Violence: राजस्थान के उदयपुर में 10वीं कक्षा के छात्र देवराज की चाकूबाजी के बाद सोमवार को मौत हो गई। चार दिनों तक जिंदगी और मौत के बीच संघर्ष करने के बाद छात्र की मौत ने शहर में गहरा तनाव पैदा कर दिया है। छात्र की मौत के बाद, उदयपुर प्रशासन ने धारा 144 लागू कर दी है और इंटरनेट सेवाओं को बंद कर दिया है। देवराज की मौत के बाद मंगलवार सुबह उसका अंतिम संस्कार कड़ी सुरक्षा के बीच किया गया। परिवार के सदस्य और कुछ प्रमुख अधिकारी अंतिम संस्कार में शामिल हुए। उदयपुर रेंज के आईजी अजयपाल लांबा और अन्य प्रशासनिक अधिकारी भी वहां मौजूद थे। अंतिम संस्कार के दौरान छात्र के पिता और चचेरे भाई ने उसे मुखाग्नि दी।
Read more: Chhatarpur Accident: यूपी के 7 श्रद्धालुओं की मौत, कई घायल… बागेश्वर धाम जा रहे थे सभी लोग
क्या था ममला?
यह घटना शुक्रवार को हुई, जब सरकारी स्कूल में 10वीं कक्षा के छात्र अयान शेख ने देवराज पर चाकू से हमला किया। इस हमले में देवराज बुरी तरह से घायल हो गया था और उसकी मौत सोमवार को इलाज के दौरान हो गई। छात्र की मौत के बाद उदयपुर में सांप्रदायिक तनाव की आशंका को देखते हुए प्रशासन ने इंटरनेट सेवाओं को बंद कर दिया है और स्कूल-कॉलेजों की छुट्टी घोषित कर दी है। कई नेताओं और अधिकारियों ने शांति बनाए रखने की अपील की है। शहर में बाजार भी बंद हैं और भारी पुलिस बल तैनात किया गया है।\
Read more: Raebareli News: आज रायबरेली पहुंचेंगे Rahul Gandhi, अर्जुन पासी के परिवार से करेंगे मुलाकात
पुलिस कार्रवाई
घटना के बाद, पुलिस ने आरोपी अयान शेख के घर को जेसीबी मशीन से ध्वस्त कर दिया। अधिकारियों ने कहा कि घर वन भूमि पर बना था, इसलिए मौजूदा नियमों के तहत इसे गिराया गया। इस बीच, कई हिंदू संगठनों ने चाकूबाजी की घटना का विरोध किया, जिससे इलाके में सांप्रदायिक तनाव और बढ़ गया। कांग्रेस पार्टी ने इस घटना की विस्तृत जांच के लिए वरिष्ठ नेताओं की एक कमेटी बनाई है। इस कमेटी में सांसद भजनलाल जाटव, पूर्व मंत्री उदय लाल आंजना, पूर्व मंत्री रामलाल जाट, और उदयपुर लोकसभा प्रत्याशी ताराचंद मीना को शामिल किया गया है।
Read more: Kolkata Rape Case बाद मुरादाबाद में नर्स को बंधक बना डॉक्टर ने किया दुष्कर्म
प्रशासन की स्थिति
छात्र की मौत के बाद जिले के कलेक्टर, एसपी, और अन्य वरिष्ठ अधिकारी स्थिति का जायजा लेने अस्पताल पहुंचे थे। किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए पुलिस ने इलाके में भारी बल तैनात किया है। राज्य और स्थानीय प्रशासन की ओर से तनावपूर्ण स्थिति को नियंत्रित करने की पूरी कोशिश की जा रही है, लेकिन अभी भी शहर में शांति की स्थिति बहाल करना चुनौतीपूर्ण साबित हो रहा है।