Mollywood Metoo Storm: मलयालम फिल्म इंडस्ट्री में #MeToo अभियान ने हाल ही में एक नई दिशा ले ली है, जिससे पूरे देश में हलचल मच गई है. इस अभियान के तहत कई युवा कलाकारों ने दिग्गज निर्देशकों, निर्माताओं, और अभिनेताओं के खिलाफ अपने साथ हुए दुर्व्यवहार की खुलकर बात की है. अब इस कड़ी में प्रसिद्ध फिल्म निर्देशक रंजीत पर गंभीर यौन दुराचार के आरोप लगे हैं. शिकायतों के आधार पर पुलिस ने उनके खिलाफ दो अलग-अलग मामले दर्ज किए हैं.
युवा अभिनेता ने दर्ज कराई FIR
शिकायत एक युवा अभिनेता ने दर्ज कराई है, जिसमें उसने आरोप लगाया है कि 2012 में रंजीत ने उसका यौन शोषण किया था. शिकायत के अनुसार, पीड़ित को ऑडिशन के बहाने बेंगलुरु के एक होटल में बुलाया गया था. वहां, रंजीत ने कथित तौर पर उसे कपड़े उतारने के लिए मजबूर किया और प्रमुख भूमिकाएं देने का वादा करते हुए उसके साथ मारपीट की. पीड़ित ने बताया कि शुरुआत में उसे लगा कि यह ऑडिशन प्रक्रिया का हिस्सा है और अगली सुबह उसे पैसे भी दिए गए थे.
पूर्व में दर्ज यौन उत्पीड़न की शिकायतें
आपको बता दे कि यह रंजीत के खिलाफ यौन आरोपों का दूसरा मामला है. इससे पहले, एक बंगाली अभिनेता ने भी यौन उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए रंजीत के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी. उस शिकायत के अनुसार, कोच्चि के एक होटल में पीड़ित के साथ मारपीट की गई थी. इस मामले में कोच्चि पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज की है और जांच जारी है.
रंजीत का आरोपों से इनकार
रंजीत ने आरोपों से इंकार करते हुए कहा कि पीड़ित को फिल्म ‘पलेरी मणिक्यम’ के लिए ऑडिशन के लिए बुलाया गया था. उन्होंने बताया कि ऑडिशन के बाद निर्णय लिया गया कि पीड़ित इस भूमिका के लिए उपयुक्त नहीं हैं, इसलिए उन्हें वापस भेज दिया गया था. रंजीत का दावा है कि आरोप झूठे हैं और वे सिर्फ विरोधियों द्वारा सरकार को कमजोर करने की कोशिश के रूप में देखे जा रहे हैं.
विशेष जांच दल का गठन
सरकार पर बढ़ते दबाव के बीच, मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने रविवार को हेमा समिति की रिपोर्ट प्रकाशित होने के बाद आरोपों की गंभीरता को देखते हुए सात सदस्यीय विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन करने की घोषणा की है. यह कदम इस बात की ओर इशारा करता है कि सरकार आरोपों की गंभीरता को समझते हुए निष्पक्ष और पारदर्शी जांच कराना चाहती है.
रंजीत का इस्तीफा और विपक्षी दलों की आलोचना
इस बीच, रंजीत ने विपक्षी दलों की ओर से लगातार केरल राज्य चलचित्र अकादमी पर हो रहे हमलों को देखते हुए अकादमी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया है. यह इस्तीफा विपक्षी दलों द्वारा सरकार पर किए जा रहे हमलों और रंजीत पर लगाए गए आरोपों के बीच स्थिति को नियंत्रित करने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है. मलयालम फिल्म इंडस्ट्री में #MeToo अभियान के तहत रंजीत पर लगाए गए आरोपों ने फिल्म उद्योग में एक बार फिर से यौन उत्पीड़न और दुर्व्यवहार के मुद्दों को केंद्र में ला दिया है. सरकार द्वारा विशेष जांच दल के गठन और रंजीत के इस्तीफे के साथ, यह देखा जाएगा कि इस विवाद की जांच कैसे होती है और क्या इसके परिणामस्वरूप कोई महत्वपूर्ण बदलाव होते हैं.