Varanasi: आज PM मोदी उत्तर प्रदेश के वाराणसी पहंचे। उन्होंने वहां पहुंचकर अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम का शिलान्यास किया। PM मोदी के इस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए सचिन तेंदुलकर, कपिल देव, सुनील गावस्कर भी मौजूद रहे। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम का शिलान्यास के कार्यक्रम के मौके पर PM मोदी ने संबोधन दिया। उन्होंने अपने संबोधन की शुरुआत करते हुए हर-हर महादेव के उद्घोष के साथ संबोधन शुरु किया।
PM मोदी ने मंच से सभी का स्वागत और अभिवादन किया। जिसके बाद उन्होंने सभी खेल से जुड़े महानुभाव और काशी के लोगों को धन्यवाद कहा। एक बार फिर बोलिए ओम नम: पार्वती पतये हर हर महादेव।
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जानिए PM मोदी के संबोधन से जुड़ी कुछ खास बातें
PM मोदी अपने संबोधन में कहा कि आज मैं ऐसे दिन आया हूं जब चंद्रयान के शिव शक्ति पाइंट पर पहुंचने का एक महीना पूरा हो गया। शिव शक्ति 23 तारीख को चंद्रयान लैंड किया था। एक चंद्रमा पर है और दूसरा शिव शक्ति काशी में है। आज शिव शक्ति के स्थान से आप सभी को बधाई देता हूं।
जन्मभूमि को प्रणाम करता
उन्होंने कहा कि इस धरती से आदरणीय राजनारायण और उनकी जन्मभूमि को प्रणाम करता हूं। काशी में आज अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम की आधारशिला रखी गई। यह पूर्वांचल के युवाओं के लिए वरदान होगा। जब यह बनकर तैयार होगा, तो तीस हजार से अधिक लोग बैठकर मैच देख पाएंगे।
अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम में मैच देखने का मौका मिलेगा
महादेव की नगरी में बन रहे इस स्टेडियम का डिजाइन महादेव को समर्पित है। यहां एक से बढ़कर एक मैच होंगे। आपको अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम में मैच देखने का मौका मिलेगा। आज क्रिकेट के जरिए दुनिया भारत से जुड़ रही है। मैच बढ़ेंगे तो बनारस का यह स्टेडियम डिमांड पूरी करेगा और सितारा बनेगा।
यह यूपी का पहला स्टेडियम होगा जो बीसीसीआइ के सहयोग से बना है। यहां का सांसद होने के नाते आपका आभार व्यक्त करता हूं।
माता पिता भी खेल को लेकर गंभीर हुए
एक समय था जब माता पिता बच्चों को डांटते थे कि पढ़ाई करोगे या खेलते रहोगे। अब सोच बदली है। अब माता पिता भी खेल को लेकर गंभीर हुए हैं। देश का मिजाज बना है कि जो खेलेगे-वही खिलेगा।
PM ने कहा कि काशी का सांसद होने के नाते सांसद खेल प्रतियोगिता के दौरान जानकारी पहुंचती रहती है। काशी खेल में नाम कमाए यही हमारा प्रयास है। उच्च स्तरीय खेल सुविधा बढ़ें।
एजूकेशन पालिसी में खेल को शिक्षा की श्रेणी में रखा गया है। बाकायदा एक विषय के तौर पर पढ़ाना तय किया गया है। खेल विवि से लेकर खेल कालेज विस्तार से लेकर नए खेल सेंटर बनाए जा रहे हैं। खेल सुविधाओं का विस्तार आवश्यक है।