Maharashtra Elections 2024: महाराष्ट्र में 20 नवंबर को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए सियासी सरगर्मियां चरम पर हैं। शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने भाजपा और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस पर तीखा हमला बोला है। ठाकरे ने फडणवीस के “धर्मयुद्ध” वाले बयान को लेकर भाजपा पर निशाना साधते हुए इसे आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन बताया। उन्होंने भाजपा के हिंदुत्व को “घर के चूल्हे बुझाने वाला” करार दिया, जबकि अपने हिंदुत्व को “चूल्हे जलाने वाला” बताया।
“अटल बिहारी के विचारों को खारिज कर चुकी है भाजपा”
उद्धव ठाकरे ने भाजपा पर तीखा हमला करते हुए कहा कि मौजूदा भाजपा ने अटल बिहारी वाजपेयी, प्रमोद महाजन और गोपीनाथ मुंडे जैसे वरिष्ठ नेताओं के आदर्शों को पूरी तरह से नकार दिया है। ठाकरे ने भाजपा पर गुजराती और मराठी समुदायों के बीच विभाजन की राजनीति करने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि भाजपा अब आम जनता के हितों की अनदेखी कर कॉर्पोरेट हितों को प्राथमिकता दे रही है।
फडणवीस के “धर्मयुद्ध” बयान पर उठा सवाल
ठाकरे ने उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के “धर्मयुद्ध” बयान को लेकर चुनाव आयोग से कार्रवाई की मांग की। उन्होंने पूछा, “क्या यह बयान आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन नहीं है?” उन्होंने बताया कि लोकसभा चुनाव के दौरान उन्हें अपनी पार्टी के चुनावी नारे से ‘जय भवानी, जय शिवाजी’ शब्द हटाने के लिए कहा गया था, लेकिन उन्होंने इससे साफ इनकार कर दिया।
“भाजपा अवसरवादी पार्टी बन चुकी है”
ठाकरे ने भाजपा को “अवसरवादी पार्टी” करार देते हुए कहा कि इस पार्टी ने अपने मूल कार्यकर्ताओं की अनदेखी कर दूसरे दलों से आए नेताओं को प्राथमिकता दी है। उन्होंने कहा, “भाजपा का आधार समर्पण और त्याग रहा है, लेकिन आज यह पार्टी अपने कार्यकर्ताओं को नजरअंदाज कर रही है।” देवेंद्र फडणवीस ने शुक्रवार को कहा था कि कुछ इस्लामी विद्वानों ने महायुति सरकार के खिलाफ “वोट जिहाद” की अपील की है। उन्होंने मतदाताओं से धर्मयुद्ध की लड़ाई लड़ने का आह्वान किया था। ठाकरे ने इस बयान को लेकर भाजपा पर हमला बोलते हुए इसे “धार्मिक ध्रुवीकरण की राजनीति” बताया।
राजनाथ सिंह का पलटवार: “उद्धव ठाकरे ने सिद्धांतों से समझौता किया”
वहीं, भाजपा नेता और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने उद्धव ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने मुख्यमंत्री पद पाने के लिए शिवसेना के संस्थापक बाला साहेब ठाकरे के सिद्धांतों को ताक पर रख दिया। पुणे में एक चुनावी सभा को संबोधित करते हुए राजनाथ सिंह ने कहा, “सत्ता हासिल करना मुश्किल नहीं है, लेकिन सच्चा नेता वही होता है जो सिद्धांतों पर अडिग रहता है। उद्धव ठाकरे ने सत्ता के लिए अपने सिद्धांतों से समझौता कर लिया।”
मराठा बनाम गुजराती राजनीति पर भी साधा निशाना
ठाकरे ने भाजपा पर मराठा और गुजराती राजनीति के नाम पर प्रदेश को बांटने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र की जनता भाजपा और एकनाथ शिंदे की “लूटखसोट” की राजनीति से तंग आ चुकी है। ठाकरे ने विश्वास जताया कि महाराष्ट्र की जनता इस बार सच्चाई और विकास के पक्ष में मतदान करेगी। महाराष्ट्र की 288 विधानसभा सीटों के लिए हो रहे इस चुनाव में आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति अपने चरम पर है। शिवसेना (यूबीटी), भाजपा, कांग्रेस और एनसीपी समेत तमाम दल अपने-अपने एजेंडे के साथ जनता को रिझाने में जुटे हैं। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि 20 नवंबर को जनता का जनादेश किसे मिलता है।