Lucknow News: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ (Lucknow) में जुमे की नमाज के दौरान शिया समुदाय ने इमामबाड़ा में हसन नसरल्लाह (Hassan Nasrallah) को श्रद्धांजलि दी। इसके साथ ही, इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू (Benjamin Netanyahu) के खिलाफ जमकर नारेबाजी की गई। यह घटना तब हुई जब राज्य की योगी सरकार ने स्पष्ट चेतावनी जारी करते हुए कहा था कि प्रदेश में आतंक का समर्थन करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। इसके बावजूद, श्रद्धांजलि कार्यक्रम और विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ, जिसमें नसरल्लाह की हत्या का विरोध किया गया।
कैंडल मार्च पर सीएम योगी ने दी थी सख्त चेतावनी
इससे पहले, शिया समुदाय (Shia community) द्वारा हसन नसरल्लाह की हत्या के विरोध में लखनऊ में एक कैंडल मार्च निकाला गया था, जिसके बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कड़ा रुख अपनाया था। सरकार ने आदेश जारी कर स्पष्ट कर दिया था कि प्रदेश में किसी भी प्रकार से आतंकवाद का समर्थन नहीं किया जाएगा। प्रशासन की तरफ से कहा गया, “यूपी में नो नसरल्लाह, नो हिजबुल्लाह।” बावजूद इसके, आज जुमे की नमाज के बाद नसरल्लाह को श्रद्धांजलि देने के लिए मजलिस का आयोजन किया गया और कड़े सुरक्षा बंदोबस्त के बीच विरोध प्रदर्शन भी हुआ।
मौलाना कल्बे जव्वाद का बयान: “हसन नसरल्लाह को आतंकी बताना गलत”
नमाज के दौरान मौलाना कल्बे जव्वाद (Maulana Kalbe Jawad) ने हसन नसरल्लाह को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि हम उनकी हत्या का विरोध कर रहे हैं। मौलाना ने कहा, “हसन नसरल्लाह का आतंकवाद से कोई संबंध नहीं था। उनकी हत्या एक आतंकी हमले में हुई, और अब उन्हें ही आतंकवादी बताया जा रहा है, जो कि गलत है।” उन्होंने यह भी कहा कि ईरान और उनके अन्य लीडर इजराइल को इस हमले का करारा जवाब देंगे।
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योगी सरकार की सख्ती के बावजूद इमामबाड़ा में श्रद्धांजलि
शिया समुदाय के इस प्रदर्शन के बाद राज्य सरकार ने सख्त कदम उठाए। सरकार की ओर से कहा गया था कि प्रदेश में आतंकवाद के किसी भी रूप में समर्थन पर कार्रवाई की जाएगी। इसके तहत, 50 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई और 5 लोगों को हिरासत में लिया गया था। बावजूद इसके, आज की घटना से यह स्पष्ट होता है कि समुदाय के कुछ लोग सरकार की चेतावनी को नजरअंदाज करते हुए विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
सीएम योगी: “आतंकवाद का समर्थन करने वालों पर होगी कड़ी कार्रवाई”
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) ने इस मामले में सख्त संदेश देते हुए कहा था कि प्रदेश में किसी भी प्रकार से आतंक का समर्थन बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। प्रशासन ने साफ किया कि आतंकवाद का समर्थन करने वाले किसी भी व्यक्ति या समूह को कानून का सामना करना पड़ेगा। पुलिस प्रशासन इस मामले में पूरी सतर्कता बरत रही है और कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए तत्पर है।
सुरक्षा के बीच श्रद्धांजलि, प्रशासन की चौकसी बढ़ाई गई
इस घटना के बाद लखनऊ (Lucknow) और आस-पास के इलाकों में सुरक्षा व्यवस्था और कड़ी कर दी गई है। प्रशासन द्वारा अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है ताकि स्थिति को नियंत्रण में रखा जा सके। हालांकि, यह देखने वाली बात होगी कि सरकार की सख्त चेतावनी के बावजूद इस तरह के विरोध प्रदर्शन पर प्रशासन कैसे प्रतिक्रिया करता है। हसन नसरल्लाह को लेकर शिया समुदाय का यह प्रदर्शन और सरकार की सख्ती के बीच प्रदेश में राजनीतिक माहौल गर्म हो गया है। अब देखना होगा कि सरकार इस मुद्दे को कैसे संभालती है और क्या आने वाले दिनों में इस विवाद का समाधान निकल पाता है।