गोरखपुरः साल 2021 के लिए शांति गांधी पुरस्कार गीता प्रेस को प्रदान किया जायेगा। गीता प्रेस का यह पुरस्कार ‘‘ समाजिक, आर्थिक, अहिंसक और राजनीतिक परिवर्तन की दिशा में उत्कृष्ट योगदान देने के लिए दिया जायेगा। गीता प्रेस की तरफ से पहले यह सम्मान लेने से इनकार कर दिया गया था। मगर बाद में प्रेस प्रबंधक ने कहा कि वह सम्मान स्वीकार करेगें, लेकिन सम्मान में मिलने वाली धनराशि को वह अस्वीकार करेगे। बताते चले गांधी शांति पुरस्कार के रूप में एक प्रशस्ति पत्र, पटिृका और उत्कृष्ट हस्तकला की कलाकृति के साथ एक करोड़ रूपये की राशि सम्मान दी जायेगी।
गीता प्रेस की शुरूआत
गीता प्रेस की शुरूआत साल 1923 में गोरखपुर से हुयी थी। इसमें 14 भाषाओं 41.7 करोड़ पुस्तकें प्रकाशित की है। जिसमें श्रीमद्भगवतगीता की 16.21 करोड़ प्रतियाँ शामिल है। गीता प्रेस दुनिया का सबसे बड़ा प्रशसको में से एक है। इसमें धार्मिक, राजनीति, शैक्षिक जैसी किताबें उपलब्ध है। काफी संख्या में लोग गीता प्रेस लोग किताबें खरीदते हैै। गांधी शांति पुरस्कार एक वार्षिक पुरस्कार है जिसकी शुरूआत सरकार ने 1955 में महात्मा गांधी की 125 वीं जयन्ती के अवसर पर यह सम्मान दिया जाता है। मंत्रालय ने कहा यह पुरस्कार किसी भी मंत्रालय को दिया जा सकता है, चाहे उसकी राष्ट्रीय , नस्ल, धर्म, पंथ जाति या लिंग कोई भी हो।
गीता प्रेस के सम्मान पर सोशल मीड़िया पर छिड़ी जंग
कांग्रेस ने गीता प्रेस को गांधी शांति पुरस्कार दिए जाने की आलोचना की और उपहास बताया। कांगे्स के महासचिव जयराम नरेश ने कहा ‘‘अक्षय मुकुल ने 2015 में इस संस्थान की एक बहुत ही अच्छी खबर जीवनी लिखी है। इसमें महात्मा गांधी के जीवन मे उतार चढ़ाव वाले सम्बधों और राजनीतिक, धार्मिक और समाजिक एजेड़े पर उनके साथ चली लड़ाईयों का खुलासा किया गया।
कांग्रेस नेता जयराम नरेश के इस बयान पर कवि डाॅ कुमार विस्वास ने अपने ट्विटर हैड़िंल पर बिना किसी का नाम लेते हुआ निशाना साथा। उन्होनें जयराम नरेश के इस बयान पर ट्वीट करते हुए कहा ‘‘ पूज्य हनुमान प्रसाद पोद्वार जी व अन्य महापुररूषों द्वारा उत्प्रेरित गीता प्रेस जैसा महान प्रकाशन दुनिया के हर सम्मान के योग्य है। करोड़ों आस्तिको के परिवारो तक न्यूनतम मूल्य में सनातम धर्म के पूज्य गं्रथ उपलब्ध कराना महान पुण्य कार्य है।
प्रधानमंत्री ने मोदी ने ट्वीट कर दी बधाई
प्रधानमंत्री ने ट्वीट कर लिखा था, ‘‘ मैं गीता प्रेस गोरखपुर को गांधी शांति पुरस्कार 2021 से सम्मानित किये जाने पर बधाई देता हूँ। उन्होने लोगो के बीच समाजिक और सांस्कृतिक परिवर्तन को आगे बढ़ाने की दशा में पिछले 100 वर्षो में सराहनीय कार्य किया है।