S.Jaishankar News: भारत के विदेश मंत्री एस.जयशंकर ने जर्मनी के बर्लिन में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए चीन को लेकर बड़ी बात कही। एस जयशंकर का चीन को लेकर यह बयान ऐसे समय आया है जब इससे पहले चीन के साथ व्यापार को लेकर उनके एक बयान से चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स को मिर्ची लग गई थी। एस जयशंकर ने चीन के साथ व्यापार को लेकर बर्लिन में कहा कि,भारत के दरवाजे चीन के साथ व्यापार के लिए बंद नहीं हैं लेकिन हमें यह तय करना होगा कि,किन शर्तों के साथ किन क्षेत्रों में दोनों देश एक-दूसरे के साथ व्यापार करेंगे।
चीन को लेकर विदेश मंत्री का बड़ा बयान
बर्लिन में एक सम्मेलन के दौरान विदेश मंत्री ने कहा,चीन दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। यह एक प्रीमियम निर्माता है दुनिया में ऐसा कोई देश नहीं जो यह कह सके कि,मैं चीन के साथ व्यापार नहीं करुंगा लेकिन मुझे लगता है कि,भारत के साथ मुद्दा यह है कि,आप किन क्षेत्रों में किन शर्तों के साथ व्यापार करते हैं। इसका उत्तर ब्लैक एंड व्हाइट बाइनर उत्तर से कहीं अधिक जटिल है।
पहले दिए बयान पर लगी थी चीन को मिर्ची
आपको बता दें कि,इससे पहले 31 अगस्त को नई दिल्ली में एक कार्यक्रम में विदेश मंत्री एस.जयशंकर ने कहा था कि,पूरी दुनिया को चीन के साथ एक समान समस्या है। इस पर केवल भारत ही नहीं बल्कि दुनिया के अन्य देश भी अलग-अलग मसलों पर बहस कर रहा है। यूरोप में प्रमुख आर्थिक और राष्ट्रीय सुरक्षा बहस के सेंटर में चीन ही है।
चीनी सेना के साथ संघर्ष के बाद संबंधों में आई खटास
गौरतलब है कि,भारत और चीन के बीच पिछले कुछ सालों में गलवान घाटी के क्षेत्र में बिगड़े संबंधों के बाद अब तक कोई उचित बात नहीं हो सकी है। 2020 में 14-15 जून को पूर्वी लद्दाख के गलवान में चीन के सैनिकों के साथ हिंसक झड़प में 20 जवान शहीद हो गए थे। इसके बाद आई कई रिपोर्ट में इसका जिक्र भी है हालांकि चीन-भारत की सेना में हुए इस संघर्ष में कई चीनी सैनिक भी बड़ी संख्या में हताहत हुए थे।
2020 में गलवान में हुई हिंसा घटना के बाद भारत ने चीन की कंपनियों के साथ होने वाले व्यापार और निवेश पर कड़ी निगरानी रखनी शुरु कर दी थी। इसकी कड़ी जांच होने लगी और प्रमुख परियोजनाओं को रोक दिया था।
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