सोशल मीडिया की दिग्गज कंपनी मेटा पर आरोप लगाया गया है, कि कम्पनी नशे की लत और बच्चों को अडिक्टिव बना रही है, साथ ही मेटा पर अमेरिका के 41 राज्यों ने मुकदमा दायर किया है।
Meta: टेक कंपनी मेटा दुनिया भर में अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स का बहुत तेजी से विस्तार कर रही है। वही अमेरिका के 41 राज्यों समेत वाशिंगटन, DC ने मेटा पर मुकदमा दायर किया है। कंपनी पर आरोप है, की बच्चों में एडिक्शन करके उनमें डिप्रेशन, एंग्जायटी और अनिंद्रा जैसी समस्याएं पैदा कर रहा है। इसके अलावा नौ अटॉर्नी जनरल अपने-अपने राज्यों में मुकदमे दायर कर रहे हैं, जिससे कार्रवाई करने वाले राज्यों की कुल संख्या 41 हो गई है। अब इस दिग्गज सोशन मीडिया कंपनी ने सरकारों तक के माथे पर चिंता की लकीरें खींच दी हैं।
कंपनी ने कही ये बात…
41 राज्यों द्वारा दायर किये गए मुकदमे पर मेटा प्रवक्ता लिज़ा क्रेंशॉ ने कहा कि कंपनी इस बात से निराश है कि राज्यों ने सीधे कोर्ट का रास्ता चुना है। उन्होंने कहा कि सरकार कंपनी के साथ मिलकर अलग-अलग ऐप्स के लिए ऐज संबंधी नियम पर काम कर सकती थी लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया।
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सिर्फ प्रॉफिट हासिल करना है मकसद?
मुकदमे के मुताबिक, मेटा ने युवाओं और किशोरों को आकर्षित करने के लिए पॉवरफुल टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया है। इसका मकसद ज्यादा से ज्यादा प्रॉफिट हासिल करना है। मेटा ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के महत्वपूर्ण खतरों के बारे में जनता को बार-बार गुमराह किया है। इसने उन तरीकों को छुपाया है जिनसे ये प्लेटफॉर्म्स किशोरों और बच्चों का शोषण और उनके साथ हेरफेर करते हैं।
राज्य और संघीय कानून के उल्लंघन…
मुकदमे के अनुसार, मेटा ने अपने युवा यूजर्स के लिए “पर्याप्त खतरों” के बारे में “बार-बार जनता को गुमराह किया”, और “राज्य और संघीय कानून के उल्लंघन में भ्रामक और गैरकानूनी आचरण” में संलग्न रहा है।