Paris Olympic में Vinesh Phogat का जोरदार पंच,टोक्यो ओलंपिक की गोल्ड मेडलिस्ट को दी करारी शिकस्त

Aanchal Singh
By Aanchal Singh
Vinesh Phogat
Vinesh Phogat

Vinesh Phogat Wrestling Paris Olympics 2024: भारत की स्टार पहलवान विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) ने पेरिस ओलंपिक्स (Paris Olympics 2024) में पहले ही राउंड में डिफेंडिंग ओलंपिक चैंपियन को हराकर एक बड़ा धमाका किया है. विनेश फोगाट ने महिला 50 किलोग्राम फ्रीस्टाइल कुश्ती मैच में जापान की यूई सुसाकी को 3-2 से हराकर क्वार्टरफाइनल में प्रवेश कर लिया है. यूई सुसाकी चार बार की वर्ल्ड चैंपियन और 2020 टोक्यो ओलंपिक्स में 50 किलोग्राम कैटेगरी की गोल्ड मेडलिस्ट रही हैं. विनेश की इस जीत ने भारत को स्वर्ण पदक की उम्मीदें जगा दी हैं.

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आखिरी पलों में शानदार वापसी

बताते चले कि विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) राउंड ऑफ 16 के इस मैच में दूसरे राउंड के अंतिम 10 सेकेंड तक 0-2 से पिछड़ रही थी. लेकिन आखिरी 5 सेकेंड में उन्होंने जबरदस्त क्लिंच गेम दिखाते हुए 3 प्वाइंट बटोरे और 3-2 से जीत हासिल की. यह जीत इसलिए भी ऐतिहासिक है क्योंकि यूई सुसाकी ने टोक्यो ओलंपिक्स (Tokyo Olympics) में अपने पहले राउंड से लेकर फाइनल तक किसी भी विरोधी को एक भी अंक नहीं बटोरने दिया था. जापान की यूई सुसाकी को आज तक अपने करियर में केवल तीन बार हार मिली थी, वहीं विनेश फोगाट उन्हें हराने वाली इतिहास की केवल चौथी पहलवान बन गई हैं.

संघर्षपूर्ण रहा पिछला डेढ़ साल

विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) का करियर बेहद शानदार लय से आगे बढ़ रहा था, लेकिन पिछले डेढ़ साल उनके लिए संघर्षपूर्ण भी रहा है. पिछले करीब डेढ़ साल से वे धरने पर बैठी हुई थीं क्योंकि भारतीय कुश्ती संघ (WFI) ने उन्हें ओलंपिक क्वालीफायर्स में भाग लेने से रोकने का प्रयास किया था. WFI ने इन आरोपों को यह कहकर खारिज कर दिया था कि विनेश का कोच और फिजियो के लिए आवेदन अंतिम तारीख निकल जाने के बाद आया था.

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WFI के पूर्व अध्यक्ष पर आरोप

इसके अलावा, विनेश (Vinesh Phogat) ने WFI के पूर्व अध्यक्ष बृज भूषण सिंह और संजय सिंह पर भी आरोप लगाए थे कि उन्होंने ओलंपिक्स में भाग लेने से रोकने का हर संभव प्रयास किया था। विनेश की मुसीबतें यहीं नहीं रुकीं, क्योंकि वे उन तीन नामी पहलवानों (विनेश, बजरंग पूनिया और साक्षी मलिक) में शामिल रहीं, जिन्होंने बृज भूषण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाते हुए धरना दिया था.

क्वार्टरफाइनल में चुनौती और भी बड़ी

विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) की यह जीत न केवल उनकी व्यक्तिगत उपलब्धि है, बल्कि भारतीय कुश्ती के लिए भी एक बड़ी प्रेरणा है. उनके संघर्ष और साहस ने यह साबित कर दिया कि मुश्किल परिस्थितियों के बावजूद हार मानने का कोई स्थान नहीं है. अब क्वार्टरफाइनल में उनकी चुनौती और भी बड़ी होगी, लेकिन उनकी तैयारी और आत्मविश्वास उन्हें आगे ले जाने में मदद करेंगे। विनेश की इस जीत ने न केवल उनके लिए, बल्कि पूरे भारत के लिए स्वर्ण पदक की उम्मीदों को नई ऊंचाई दी है.

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