Vaishakh Purnima 2025: सनातन धर्म में पूर्णिमा और अमावस्या तिथि को बेहद ही खास माना गया है जो कि हर माह में एक बार पड़ती है। पंचांग के अनुसार अभी वैशाख का महीना चल रहा है और इस माह पड़ने वाली पूर्णिमा को वैशाख पूर्णिमा के नाम से जाना जा रहा है। जो कि भगवान विष्णु को समर्पित है।
इस दिन स्नान दान, पूजा पाठ और तप जप का विधान होता है। मान्यता है कि वैशाख पूर्णिमा के दिन भगवान विष्णु के साथ साथ चंद्र देव की पूजा करने से पुण्य की प्राप्ति होती है। इसके अलावा इस दिन अगर पवित्र नदी में स्नान किया जाए तो सभी पापों का नाश हो जाता है। तो हम आपको अपने इस लेख द्वारा बता रहे हैं कि इस बार वैशाख पूर्णिमा कब है और इस दिन क्या करें क्या नहीं।
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कब है वैशाख पूर्णिमा?
हिंदू पंचांग के अनुसार वैशाख पूर्णिमा तिथि का आरंभ 11 मई को शाम 6 बजकर 55 मिनट पर हो रहा है। वही इस तिथि का समापन 12 मई को शाम 7:22 मिनट पर होगा। ऐसे में उदया तिथि के अनुसार इस साल वैशाख पूर्णिमा 12 मई को मनाया जाएगा। वैशाख पूर्णिमा पर चंद्रोदय का समय शाम 5 बजकर 59 मिनट पर होगा। इस समय आप चंद्रमा को जल अर्पित कर सकते हैं।
वैशाख पूर्णिमा पर करें यह काम
आपको बता दें कि वैशाख पूर्णिमा के दिन जल पात्र, कुल्हड़, पंखे, चप्पल, छाता, घी, फल, चीनी, चावल, नमक का दान जरूर करें। मान्यता है कि इस दिन दान पुण्य करने से मन को शांति मिलती है।
इस दिन इन चीजों का दान करने से भगवान विष्णु की कृपा प्राप्त होती है साथ ही अकाल मृत्यु के भय से भी राहत मिल जाती है। इसके अलावा वैशाख पूर्णिमा के दिन गरीबों, साधु, महात्मा और ब्राह्मणों को भोजन कराएं और उन्हें जरूरत की चीजों का दान करें। वैशाख पूर्णिमा पर जल से भरा पात्र किसी मंदिर में जरूर दान करें ऐसा करने से पुण्य की प्राप्ति होती है।
पूर्णिमा पर न करें ये गलतियां
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार वैशाख पूर्णिमा के दिन भूलकर भी वाद विवाद या क्लेश नहीं करना चाहिए ऐसा करने से जीवन में नकारात्मकता आती है। इसके अलावा इस दिन क्रोध करने से बचना चाहिए।
घर आए गरीब को खाली हाथ नहीं जाने देना चाहिए बल्कि उन्हें कुछ न कुछ दान जरूर करें। पूर्णिमा तिथि पर किसी का अपमान नहीं करना चाहिए इसके अलावा इस दिन मांस मदिरा आदि का सेवन करने से भी बचें। वरना जीवनभर समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
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Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां पौराणिक कथाओं,धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है।खबर में दी जानकारी पर विश्वास व्यक्ति की अपनी सूझ-बूझ और विवेक पर निर्भर करता है।प्राइम टीवी इंडिया इस पर दावा नहीं करता है ना ही किसी बात पर सत्यता का प्रमाण देता है।