Ranji Trophy: केरल की क्रिकेट टीम ने रणजी ट्रॉफी के इतिहास में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए पहली बार फाइनल में जगह बनाई है। इस टूर्नामेंट के 74 वर्षों के इतिहास में यह पहला अवसर है जब केरल की टीम खिताबी मुकाबले में उतरेगी। इस ऐतिहासिक उपलब्धि में सबसे अहम योगदान गुजरात के खिलाफ खेले गए सेमीफाइनल मुकाबले में केरल को मिली महज 2 रन की बढ़त थी, जो एक हेलमेट के जरिए हासिल हुई।
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सेमीफाइनल में गुजरात के खिलाफ रोमांचक मुकाबला

बताते चले कि केरल और गुजरात के बीच 17 फरवरी को शुरू हुआ सेमीफाइनल मैच काफी रोमांचक रहा। पहले दिन टॉस जीतकर केरल ने बल्लेबाजी करते हुए 457 रनों का विशाल स्कोर खड़ा किया, इसके जवाब में गुजरात की टीम ने 455 रन बनाए। इसके बाद गुजरात को बढ़त लेने के लिए 2 रन और जरूरी थे, लेकिन भाग्य ने केरल का साथ दिया।
हेलमेट के कारण मिली बढ़त
गुजरात को बढ़त लेने के लिए अब सिर्फ 2 रन चाहिए थे, लेकिन शॉट लेग फील्डर सलमान निजार के हेलमेट से गेंद टकराकर उछल गई और फर्स्ट स्लिप में सचिन बेबी ने आसान कैच लपक लिया। इससे केरल को दो रन की बढ़त मिल गई और उन्होंने सेमीफाइनल में जीत हासिल कर ली। मैच के आखिरी दिन, नियमों के मुताबिक, पहली पारी में बढ़त लेने वाली टीम को फाइनल के लिए क्वालिफाई करना था, और इस प्रकार केरल फाइनल में पहुंचा।
संजू सैमसन ने जताई खुशी

केरल के पूर्व कप्तान संजू सैमसन ने इस ऐतिहासिक जीत की खुशी जाहिर की। हालांकि वे इस मैच में नहीं खेल रहे थे, लेकिन उन्होंने इंस्टाग्राम स्टोरी पर लिखा, “गजब का मोमेंट है। ये सब देखकर रोमांचित हो गया हूं। 10 साल पहले जो सपना देखा था, वह अब बस एक कदम दूर है। यह हमारा है, जाओ इसे जीतो।”
अजहरुद्दीन का शानदार प्रदर्शन
इस ऐतिहासिक मैच में केरल के एम अजहरुद्दीन ने 177 रनों की शानदार पारी खेली, जो टीम के लिए बेहद अहम साबित हुई। अजहरुद्दीन ने 341 गेंदों पर यह पारी खेली और टीम के मुश्किल समय में कप्तान सचिन बेबी के साथ महत्वपूर्ण साझेदारी की। उन्होंने केरल को एक मजबूत स्थिति में लाने का काम किया। गेंदबाजी के दौरान केरल के आदित्य सरवते और जलज सक्सेना ने शानदार प्रदर्शन किया और 4-4 विकेट झटके। एन बेसिल और निधीश ने एक-एक विकेट हासिल किया। गुजरात की ओर से प्रियांक पंचाल ने 148 रनों की बेहतरीन पारी खेली, लेकिन अपनी टीम को बढ़त दिलाने में नाकाम रहे।
अंतिम दिन का खेल

खबर लिखे जाने तक इस मैच का अंतिम दिन टी ब्रेक तक पहुंच चुका था। केरल ने अपनी दूसरी पारी में 4 विकेट के नुकसान पर 93 रन बनाए और 95 रनों की बढ़त ले ली थी। अब केरल का लक्ष्य अपने ऐतिहासिक सफर को फाइनल में और भी आगे बढ़ाने का है। केरल ने रणजी ट्रॉफी में अपनी पहली बार फाइनल में जगह बनाकर इतिहास रच दिया है। एम अजहरुद्दीन और केरल के गेंदबाजों के शानदार प्रदर्शन ने इस मुकाम तक पहुंचने में अहम भूमिका निभाई। अब टीम के पास अपनी पहली रणजी ट्रॉफी जीतने का मौका है।