अब लखनऊ की ध्येय IAS कोचिंग में टला बड़ा हादसा, एक घंटा लिफ्ट में फंसे रहे दो छात्र

Akanksha Dikshit
By Akanksha Dikshit
ध्येय IAS कोचिंग सेंटर

Lucknow Dhyeya IAS Coaching: दिल्ली के बाद अब उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ (Lucknow) में भी एक बड़ा हादसा होते-होते बच गया। गोमती नगर के हुसेडिया-चौराहे पर स्थित ध्येय IAS कोचिंग सेंटर में पढ़ाई के बाद दो छात्र लिफ्ट में फंस गए। इस घटना ने कोचिंग सेंटर में हड़कंप मचा दिया। बताया जा रहा है कि दोनों छात्र लगभग 45 मिनट तक लिफ्ट में फंसे रहे। जब आसपास से कोई मदद नहीं मिली, तो लिफ्ट में फंसी छात्रा शोभा सिंह ने अपने पति पवन सिंह को फोन करके स्थिति की जानकारी दी। इसके बाद पवन सिंह ने पुलिस को सूचना दी। सूचना मिलते ही पुलिस ने मौके पर पहुंचकर दोनों छात्रों को बाहर निकाला।

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कोचिंग सेंटर में कैसे हुई घटना

शनिवार रात आठ बजे, कोचिंग खत्म होने के बाद, शोभा सिंह और निलेश अवस्थी नामक दो छात्र लिफ्ट से ग्राउंड फ्लोर पर उतर रहे थे। लेकिन लिफ्ट बीच में ही रुक गई। लिफ्ट रुकते ही दोनों छात्रों ने मदद की गुहार लगाई, लेकिन उनकी आवाज लोगों तक नहीं पहुंच सकी। इसके बाद शोभा सिंह ने अपने पति पवन सिंह को फोन करके लिफ्ट में फंसे होने की जानकारी दी।

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वीडियो बनाया और पुलिस को दी सूचना

सूचना मिलते ही पवन सिंह मौके पर पहुंचे और कोचिंग सेंटर के मैनेजमेंट को जानकारी दी, लेकिन कोई मदद नहीं मिली। पवन सिंह ने इस घटना का वीडियो बनाया और दिखाया कि उनकी पत्नी किस तरीके से लिफ्ट में फंसी हुई हैं। पवन का आरोप था कि किसी ने भी उनकी मदद नहीं की। आखिरकार, पवन ने पुलिस को सूचना दी।

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पुलिस की त्वरित कार्रवाई

पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची और लिफ्ट ऑपरेटर की मदद से लिफ्ट को सही कराया। इसके बाद दोनों छात्र सुरक्षित बाहर निकल सके। पुलिस का कहना है कि मेटल की रस्सी में एक चूहा फंस गया था, जिसके कारण लिफ्ट की पावर सप्लाई कट हो गई और लिफ्ट पांचवे फ्लोर पर रुक गई थी। सूचना मिलने के तुरंत बाद ही दोनों छात्रों को बाहर निकाल लिया गया।

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सुरक्षा मानकों की अनदेखी

यह घटना स्पष्ट करती है कि कोचिंग सेंटर और अन्य सार्वजनिक स्थलों पर सुरक्षा मानकों का पालन कितनी आवश्यक है। अगर लिफ्ट में फंसे छात्रों की मदद समय पर नहीं पहुंचती तो यह घटना एक बड़ी दुर्घटना में बदल सकती थी। कोचिंग सेंटर और अन्य सार्वजनिक स्थलों पर लिफ्ट की नियमित जांच और मेंटेनेंस सुनिश्चित किया जाना चाहिए। साथ ही, सुरक्षा उपकरणों की व्यवस्था और कर्मचारियों की ट्रेनिंग भी आवश्यक है ताकि आपात स्थिति में त्वरित और प्रभावी कार्रवाई की जा सके। सभी सार्वजनिक स्थानों पर सुरक्षा मानकों का पालन और नियमित जांच जरूरी है ताकि ऐसी घटनाओं को रोका जा सके और किसी भी तरह की अप्रिय स्थिति से बचा जा सके।

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