22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर में रामलला के प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को लेकर सपा और कांग्रेस के द्वारा विरोध जारी है। वही चारों पीठ के शंकराचार्य के द्वारा भी अधूरा मंदिर की बात कह कर प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में जाने से इनकार कर दिया है। इसको लेकर गाजीपुर के सांसद अफजाल अंसारी ने एक कार्यक्रम के दौरान इस कार्यक्रम को पूरी तरह से राजनीतिकरण करने का आरोप लगाते हुए कहा कि, आप भी यदि अपना घर बनाएंगे तो अधूरे घर में गृह प्रवेश नहीं करेंगे।
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अफजाल अंसारी का बीजेपी पर हमला
है राम के वजूद पर हिंदुस्ता को नाज,और अहले सुखन भी कहते हैं उनको इमामे हिंद। इस शायरी को पढ़ते हुए सांसद अफजाल अंसारी ने कहा कि पूरे संसार में चार ही पीठ हैं और चारों पीठ के शंकराचार्य ने राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम का न्योता को यह कहते हुए अस्वीकार कर दिया। और कहां की धर्म और शास्त्र के अनुसार नियम और नीति के अनुसार यह प्रोग्राम नहीं हो रहा है। इसका राजनीतिकरण कर दिया गया है।
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‘राम मंदिर के जरिए राजनीतिक लाभ लेने की कोशिश’
उनको आप क्यों विवादित बना रहे हैं?उन्हें विवादित मत बनाइए आपका निमंत्रण पत्र पर कौन है। जो कहे कि हम उनके गार्जियन हैं। और उस हैसियत से हम निमंत्रण दे रहे हैं। वह संसार के हर प्राणी में प्राण डालने वाले हैं । और उनकी प्राण प्रतिष्ठा इस तरह से की जा रही है जो एक मजाक बनकर रह गया है। इन लोगों ने जल्दबाजी में भगवान राम का राजनीतिक लाभ लेने के लिए इस्तेमाल किया है। इसका भगवान उन लोगों को खुद ही दंड देंगे।
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विपक्षी दलों की ओर से बीजेपी पर निशाना
वहीं इससे पहले भी कई विपक्षी दलों के नेता 22 जनवरी को होने वाले प्राण प्रतिष्ठा समारोह को लेकर बीजेपी पर निशाना साध चुके हैं.विपक्ष के नेताओं का कहना है कि,भारतीय जनता पार्टी ने धार्मिक कार्यक्रम को पूरी तरह से राजनीतिक बना दिया है जिसका फायदा 2024 के लोकसभा चुनाव में लेने की कोशिश करेगी।हालांकि बीजेपी विपक्ष के इस तरह के बयानों को उनकी बौखलाहट ही बताती रही है कि,गठबंधन में किसी तरह की एकता नहीं है विपक्ष में शामिल सभी दल केवल 2024 में पीएम मोदी को हराने के लिए एकजुट हुए हैं लेकिन उनके बीच एकजुटता नहीं दिखाई दे रही है जिसके कारण विपक्षी गठबंधन लोकसभा चुनाव से पहले भी बिखर जाए तो इसमें किसी को हैरान होने की जरूरत नहीं है।