Bihar Politics: राजनीति में कुछ भी असंभव नहीं है इसका एक बार फिर उदाहरण देखने को मिला है मणिपुर की एन.बीरेन सिंह सरकार से नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली जेडीयू ने अपना समर्थन वापस ले लिया है जिसके बाद एक बार फिर राजनीतिक गलियारों में नीतीश कुमार के पलटी मारने की अटकलें लगाई जाने लगी हैं।भले नीतीश कुमार ने एनडीए के साथ आकर कई मौकों पर ये कहा हो कि,अब वो पूरी तरह से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और एनडीए के साथ हैं लेकिन ऐसा वह इससे पहले भी कह चुके हैं इसलिए मणिपुर सरकार से समर्थन वापस लेने की खबर को उनके पलटी मारे जाने की आदत से जोड़कर देखा जा रहा है।
मणिपुर सरकार से जेडीयू ने वापस लिया समर्थन
जेडीयू ने पूर्वोत्तर राज्य मणिपुर में भाजपा सरकार से समर्थन वापस ले लिया है 60 सीटों वाले मणिपुर राज्य में भाजपा को 37 सीटों के साथ बहुमत प्राप्त है लेकिन 1 सीट के साथ जेडीयू का भी बीजेपी को समर्थन प्राप्त था।इससे पहले मणिपुर विधानसभा में जेडीयू के 6 विधायक थे जिनमें से 5 विधायकों ने बीजेपी ज्वाइन कर ली थी।जेडीयू के प्रवक्ता राजीव रंजन ने जानकारी देते हुए बताया कि,अनुशासनहीनता के आरोपों में मणिपुर जेडीयू अध्यक्ष को पद से हटा दिया गया है।
मणिपुर जेडीयू अध्यक्ष को हटाया पद से
राजीव रंजन ने आगे बताया कि,जेडीयू के एक विधायक अब्दुल नासिर मणिपुर विधानसभा में हैं जो विपक्ष में बैठेंगे।मणिपुर जेडीयू इकाई की ओर से इस संबंध में एक पत्र राज्यपाल अजय कुमार भल्ला को भेजकर इसकी जानकारी दी गई है।पत्र में लिखा है फरवरी/मार्च 2022 में मणिपुर विधानसभा के लिए हुए चुनाव में जेडीयू द्वारा उतारे गए 6 उम्मीदवारों को वापस कर दिया गया।इसके कुछ महीनों बाद जेडीयू के 5 विधायक बीजेपी में शामिल हो गए।
इन पांचों विधायकों के खिलाफ संविधान की दसवीं अनुसूची के तहत मुकदमा विधानसभा स्पीकर के सामने लंबित है।पत्र में ये भी लिखा है कि,मणिपुर में जेडीयू के एकमात्र विधायक मोहम्मद अब्दुल नासिर को विधानसभा के अंतिम सत्र में सदन में विपक्षी विधायक के रुप में माना जाएगा।नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) केंद्र और बिहार में बीजेपी की सहयोगी है इस साल बिहार में विधानसभा चुनाव होने हैं उससे पहले जेडीयू की ओर से बीजेपी को दिया गया ये बड़ा झटका माना जा रहा है।नीतीश कुमार फिलहाल अभी बीजेपी के साथ हैं लेकिन हर बार चुनाव के अहम वक्त पर पलटी मारने का उनका अपना इतिहास रहा है इससे बीजेपी की टेंशन बढ़नी तय है।