Baba Siddique Murder: महाराष्ट्र (Maharashtra) में एनसीपी नेता और पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी (Baba Siddique) की शनिवार रात गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. रविवार को उनका अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किया गया. इस बीच, मुंबई पुलिस की क्राइम ब्रांच इस हत्या की जांच में जुटी हुई है और गिरफ्तार किए गए आरोपियों से पूछताछ में नए खुलासे हो रहे हैं.
मुंबई पुलिस की क्राइम ब्रांच को मिली जानकारी के अनुसार, बाबा सिद्दीकी के साथ उनके बेटे और विधायक जीशान सिद्दीकी (Zeeshan Siddique) भी हमलावरों के निशाने पर थे. गिरफ्तार आरोपियों ने खुलासा किया कि उन्हें बाबा सिद्दीकी और जीशान सिद्दीकी दोनों को मारने का आदेश दिया गया था. आरोपियों को निर्देश दिए गए थे कि अगर दोनों को एक साथ मारने का मौका न मिले, तो जो भी पहले सामने आए, उसे मार दो.
आरोपियों की गिरफ्तारी
बताते चले कि इस हत्याकांड में पुलिस ने हरियाणा के गुरमैल बलजीत सिंह और उत्तर प्रदेश के धर्मराज कश्यप को गिरफ्तार किया है. पुलिस के अनुसार, गुरमैल का पहले से ही आपराधिक रिकॉर्ड है, जबकि धर्मराज का कोई आपराधिक इतिहास सामने नहीं आया है. तीसरा आरोपी शिवानंद कुमार अभी भी फरार है. पुलिस उसे पनवेल इलाके में ट्रैक कर चुकी है, लेकिन अभी तक गिरफ्त में नहीं आ पाया है.
मुंबई पुलिस की कई टीमें हरियाणा, उत्तर प्रदेश और दिल्ली में उसकी तलाश कर रही हैं. पुलिस की जांच में यह भी सामने आया है कि ये तीनों आरोपी कुर्ला में किराए के मकान में रहते थे और रोजाना ऑटो रिक्शा से बांद्रा जाकर बाबा सिद्दीकी और उनके बेटे जीशान सिद्दीकी से जुड़े स्थानों की निगरानी करते थे. वे दोनों के घर, ऑफिस और अन्य कार्यक्रम स्थलों पर नजर रखते थे ताकि सही मौके का इंतजार कर सकें.
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पूछताछ में आरोपियों ने किया खुलासा
आपको बता दे कि पूछताछ में आरोपियों ने स्वीकार किया कि उन्हें दोनों (बाबा सिद्दीकी (Baba Siddique) और जीशान सिद्दीकी (Zeeshan Siddique) ) की हत्या की सुपारी दी गई थी. पुलिस का मानना है कि इस हमले के पीछे लॉरेंस बिश्नोई गैंग का हाथ हो सकता है, क्योंकि जीशान सिद्दीकी भी उनके निशाने पर थे. हमलावरों को घटना वाले दिन सूचना मिली थी कि बाबा सिद्दीकी और उनके बेटे एक ही स्थान पर मौजूद होंगे, और उन्होंने उसी के अनुसार हमला किया.
शूटर्स की गतिविधियों पर नजर
मुंबई पुलिस की एंटी-एक्सटॉर्शन सेल इस हत्याकांड की जांच कर रही है. जांच में यह भी पता चला है कि तीनों आरोपी हमले से पहले कई दिनों तक बांद्रा में घूम-घूम कर बाबा और जीशान सिद्दीकी की गतिविधियों पर नजर रख रहे थे. यह साफ है कि हमलावरों ने पूरी प्लानिंग के साथ हत्या की योजना बनाई थी, जिसमें पहले से ही सभी जानकारी जुटाई गई थी. इस घटना ने राज्य की सुरक्षा व्यवस्था पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं, और पुलिस की कई टीमें इस हाई-प्रोफाइल हत्या की गुत्थी सुलझाने में लगी हुई हैं. वहीं, फरार आरोपी शिवानंद की गिरफ्तारी के लिए सर्च ऑपरेशन जारी है.