Meena Ganesh Death: मलयालम फिल्म इंडस्ट्री (Malayalam film industry) की मशहूर अभिनेत्री मीना गणेश (Meena Ganesh) का 81 वर्ष की आयु में निधन हो गया। उनके निधन की खबर ने फिल्म इंडस्ट्री में शोक की लहर छा गई है. वह मलयालम सिनेमा की जानी-मानी हस्ती थीं और लगभग 105 फिल्मों में अभिनय कर चुकी थी। बीते कुछ समय से वह बीमारी से जूझ रही थी और इलाज के लिए एक प्राइवेट अस्पताल में भर्ती थी। मिली जानकारी के अनुसार, उनका इलाज केरल के पलक्कड़ के ओटापलम में एक प्राइवेट अस्पताल में चल रहा था।
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ब्रेन स्ट्रोक के बाद बिगड़ी हालत, उपचार के दौरान मौत
एक रिपोर्ट के अनुसार, मीना गणेश (Meena Ganesh) की मृत्यु ब्रेन स्ट्रोक के कारण हुई। पांच दिन पहले उन्हें ब्रेन स्ट्रोक हुआ था, जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। स्ट्रोक के इलाज के दौरान उनकी हालत बिगड़ती चली गई, क्योंकि उनका ब्लड प्रेशर बढ़ गया था। डॉक्टर्स ने काफी कोशिश की, लेकिन उनकी हालत में सुधार नहीं हुआ और आखिरकार उन्हें बचाया नहीं जा सका। इस खबर के बाद उनके प्रशंसक और फिल्म इंडस्ट्री के साथी गहरे शोक में डूब गए हैं।
मलयालम सिनेमा में अपार योगदान और यादगार फिल्में
मलयालम सिनेमा की अभिनेत्री मीना गणेश (Meena Ganesh) ने 19 साल की उम्र में अभिनय में कदम रखा था और लगभग अपने पूरे करियर में सपोर्टिंग रोल ही निभाए। बावजूद इसके, उन्होंने मलयालम सिनेमा में जो योगदान दिया, वह हमेशा याद किया जाएगा। उनकी प्रमुख फिल्मों में ‘वसंथियम लक्ष्मियम’, ‘पिन्ने न्जानुम’, ‘मीशा माधवन’, ‘नंदनम’, ‘पुनराधिवासम’ और ‘करुमाडिकुट्टन’ जैसी फिल्मों ने उन्हें दर्शकों के दिलों में एक विशेष जगह दिलाई। वह इन फिल्मों में अपनी भूमिका से हमेशा याद की जाएंगी।
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थिएटर से फिल्म इंडस्ट्री तक का सफर
मीना गणेश (Meena Ganesh) की शादी प्रसिद्ध थिएटर और फिल्म कलाकार एएन गणेश से हुई थी। उन्होंने हमेशा थिएटर के प्रति अपनी रुचि को प्राथमिकता दी थी। फिल्म इंडस्ट्री में कदम रखने से पहले, मीना गणेश ने मलयालम थिएटर में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया था। उनका थिएटर से गहरा नाता था और इस क्षेत्र में उन्होंने अपना एक महत्वपूर्ण स्थान बनाया। इसके अलावा, छोटे पर्दे पर भी उनकी अभिनय क्षमता ने उन्हें काफी प्रशंसा दिलाई थी, जिससे वह सिल्वर स्क्रीन पर भी सफलता पा सकी।उनके निधन से मलयालम फिल्म इंडस्ट्री ने एक सशक्त और अनुभवी अभिनेत्री को खो दिया है। उनका योगदान सिनेमा और थिएटर दोनों में अनमोल रहेगा और उन्हें हमेशा याद किया जाएगा।
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