Lucknow News: बिहार से दिल्ली आ रही एक स्लीपर बस में अचानक आग लगने के कारण उत्तर प्रदेश के लखनऊ में एक दिल दहला देने वाला हादसा हुआ, जिसमें दो बच्चों समेत पांच लोग जलकर खाक हो गए। हादसा उस वक्त हुआ जब बस के अधिकांश यात्री सो रहे थे। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, बस एक किलोमीटर तक जलती रही, और यात्री आग लगने के बाद बचने के लिए हड़बड़ी में थे। कुछ ने खिड़कियां तोड़ीं, तो कुछ दरवाजे से बाहर भागने की कोशिश की, लेकिन इमरजेंसी डोर बंद था, जिससे यह हादसा और भी जानलेवा हो गया।
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पांच लोगों की जलकर मौत

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के किसान पथ पर एक डबल डेकर बस में गुरुवार सुबह भीषण आग लगने से पांच लोगों की जलकर मौत हो गई। यह बस बिहार से दिल्ली जा रही थी, और हादसे के समय बस में 60 यात्री सवार थे। कई यात्रियों ने अपनी जान बचाने के लिए बस से कूदकर भागने का प्रयास किया। मृतकों में एक महिला और दो बच्चे शामिल हैं। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम हाउस भेज दिया है।
कहां पर हुआ हादसा ?
यह हादसा मोहनलालगंज कोतवाली क्षेत्र के किसान पथ पर हुआ। हादसे के बाद मौके पर भारी पुलिस और दमकल विभाग के कर्मी पहुंचे। दमकल विभाग के कर्मियों ने घंटों की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। आग इतनी तेज थी कि बस के भीतर सवार यात्रियों के लिए बाहर निकलना मुश्किल हो गया। दुर्घटना की खबर मिलने पर मोहनलालगंज और पीजीआई थाना की पुलिस भी मौके पर पहुंची।
कितने बजे हुआ हादसा ?

पुलिस के मुताबिक, बस संख्या-UP17AT6372 बुधवार दोपहर 12:30 बजे बेगूसराय, बिहार से दिल्ली के लिए रवाना हुई थी। रात करीब 12 बजे गोरखपुर में बस में सवारियों को बैठाया गया था। हादसा गुरुवार सुबह करीब 5 बजे लखनऊ के आउटर रिंग रोड (किसान पथ) पर हुआ। बस में पर्दे लगे होने के कारण आग तेजी से फैल गई और यात्री उसमें फंस गए। आग लगने के बाद यात्रियों में अफरातफरी मच गई, कुछ यात्रियों ने खिड़कियां तोड़कर और दरवाजे से कूदकर अपनी जान बचाई।
मृतकों की पहचान
मृतकों की पहचान लख्खी देवी (55 साल), सोनी (26 साल), देवराज (3 साल), साक्षी कुमारी (2 साल) के रूप में की गई है। जबकि एक अन्य मृतक की पहचान अभी तक नहीं हो पाई है। घटनास्थल पर मौजूद पुलिस अधिकारियों ने बताया कि आग इतनी भयंकर थी कि बस में सवार कई लोग आग में फंसे रहे। इस हादसे में कुछ यात्री गंभीर रूप से घायल भी हुए हैं।
सीएम योगी ने दुर्घटना का संज्ञान लिया

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस दुर्घटना का संज्ञान लिया है और हादसे में मारे गए लोगों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की है। मुख्यमंत्री ने जिला प्रशासन के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि घायलों को तत्काल अस्पताल पहुंचाया जाए और उनके समुचित उपचार का ध्यान रखा जाए। इसके अलावा, राहत कार्य में तेज़ी लाने के लिए प्रशासन को सक्रिय करने की भी बात कही गई है।
यातायात और सुरक्षा मानकों पर खड़े हुए सवाल
यह हादसा उत्तर प्रदेश के यातायात और सुरक्षा मानकों पर भी सवाल खड़ा करता है। इस घटना के बाद, कई विशेषज्ञों ने स्लीपर बसों की सुरक्षा मानकों और डिजाइन को लेकर चिंता जताई है। आग लगने के समय यात्री सो रहे थे, और बस में कोई उचित इमरजेंसी एग्जिट नहीं था, जिससे बचाव कार्य में भी दिक्कतें आईं। स्लीपर बसों में यात्रा करने वाले यात्री को बेहतर सुरक्षा सुविधाएं मिलनी चाहिए, ताकि इस तरह के हादसे की पुनरावृत्ति न हो।
इस हादसे के बाद यात्री सुरक्षा को लेकर सवाल उठ रहे हैं कि क्या स्लीपर बसों के डिजाइन में सुधार की आवश्यकता है। विशेष रूप से, इन बसों में इमरजेंसी डोर, फायर अलार्म और स्वचालित निकासी प्रणालियों के अभाव को लेकर यात्री सुरक्षा पर गंभीर विचार विमर्श किया जा रहा है।