Los Angeles Protests: अमेरिका के लॉस एंजिल्स में अवैध प्रवासियों के खिलाफ चल रही सरकारी कार्रवाई के विरोध में पिछले तीन दिनों से जारी प्रदर्शन अब हिंसक रूप ले चुका है। कई इलाकों में प्रदर्शनकारियों ने सड़कों पर आगजनी की साथ ही सैकड़ों वाहनों को आग के हवाले कर दिया।
प्रदर्शन के दौरान कई लोग मेक्सिको के झंडे लहराते हुए दिखाई दिए। कुछ प्रदर्शनकारियों को अमेरिकी झंडे को जलाते और उस पर थूकते भी देखा गया। यह घटना मेट्रोपॉलिटन डिटेंशन सेंटर के बाहर हुई, जहाँ बड़ी संख्या में लोग एकत्र हुए थे। वहां “गो होम” और “शेम” जैसे नारे भी लगाए गए।
स्थिति को नियंत्रित करने के लिए अमेरिकी नेशनल गार्ड्स को हस्तक्षेप करना पड़ा। भारतीय समयानुसार रविवार देर रात उन्होंने प्रदर्शनकारियों पर आंसू गैस और रबर बुलेट्स का इस्तेमाल कर भीड़ को पीछे हटाया।
इस पूरे घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया देते हुए राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने सोशल मीडिया पर कहा कि लॉस एंजिल्स अब अवैध प्रवासियों के कब्जे में है और जल्द ही स्थिति को नियंत्रण में लाया जाएगा। उन्होंने सख्त कार्रवाई के संकेत भी दिए हैं।
लॉस एंजिल्स में नेशनल गार्ड तैनात

राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने लॉस एंजिल्स में हालात पर काबू पाने के लिए 2000 नेशनल गार्ड्स को तैनात किया है। हालांकि कैलिफोर्निया के गवर्नर गैविन न्यूसम और लॉस एंजिल्स की मेयर कैरेन बैस ने नेशनल गार्ड्स भेजने को लेकर आपत्ति जताई है। बताते चलें कि ये पहली बार है जब किसी राज्य की नेशनल गार्ड को बिना गवर्नर की अनुमति के भेजा गया है।
6 से 7 जून को लॉस एंजिल्स में सरकार ने अवैध अप्रवासियों के खिलाफ अभियान चलाया था। इस कार्रवाई का विरोध किया जा रहा है। ये छापेमारी राष्ट्रपति ट्रम्प की Deportation नीति का हिस्सा हैं।
रविवार सुबह प्रदर्शनकारियों ने चलाए पटाखे और पत्थर…
भारतीय समयानुसार अगर बात करें तो इससे पहले ही रविवार की सुबह प्रदर्शन हुआ था। जिसके चलते पुलिस पर पत्थर और पटाखे चलाए जाने की बात सामने आई है। इसके साथ ही अलावा प्रदर्शनकारियों द्वारा सुरक्षा बलों और इमिग्रेशन एंड कस्टम्स इन्फोर्समेंट (ICE) पर आंसू गैस और पैट्रोल बम भी फेंके गए। बहुत से सरकारी इमारतों और गाड़ियों पर स्प्रे-पेंट से नारे लिखे, एक स्ट्रिप मॉल में आग लगा दी और कई दुकानों में तोड़फोड़ भी किए। प्रदर्शनकारियों ने मेक्सिको का झंडा लेकर ‘ICE लॉस एंजिल्स से बाहर जाओ’ जैसे नारे भी लगाए। इसके बाद 100 से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया गया।
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जाने कितनें अप्रवासियों को गिरफ्तार करने का उद्देश्य…
ट्रम्प की डिपोर्टेशन पॉलिसी के अनुसार ICE को प्रतिदिन बिना दस्तावेज वाले 3000 अप्रवासियों को रिकॉर्ड संख्या में गिरफ्तार और डिपोर्ट करने का उद्देश्य रखा गया है। बता दें कि छापेमारी का एक कारण व्यपारियों द्वारा फर्जी दस्तावेजों का इस्तेमाल करना भी हो सकता है।
अधिकारियों की मानें तो हर रोज़ करीब 1600 अवैध अप्रवासियों को पकड़ा जा रहा है। दरअसल, होमलैंड सिक्योरिटी विभाग द्वारा इस बात का दावा किया गया है कि एक हजार प्रदर्शनकारियों ने एक फेडरल ऑफिस को घेरकर ICE अधिकारियों पर हमला किया। बता दें कि, यह प्रदर्शनकारी खास तौर पर आप्रवासी समुदाय के समर्थक, स्थानीय निवासी, और आप्रवासी अधिकारों अधिकारों के लिए काम करने वाले संगठन जैसे कोएलिशन फॉर ह्यूमन इमिग्रेंट राइट्स और नेशनल डे लेबरर ऑर्गनाइजिंग नेटवर्क के सदस्य हैं।