Koneru Humpy World Chess Champion: भारत की प्रमुख महिला शतरंज खिलाड़ी कोनेरू हंपी ने 2024 के अंत में एक और बड़ी सफलता हासिल की। 37 वर्षीय हंपी ने रविवार को न्यूयॉर्क में आयोजित FIDE वर्ल्ड रैपिड चेस चैंपियनशिप 2024 का खिताब जीतकर अपने करियर की एक और महत्वपूर्ण उपलब्धि को अपने नाम किया। हंपी ने टूर्नामेंट के 11वें राउंड में इंडोनेशिया की इरीन सुकंदर को हराकर यह प्रतिष्ठित खिताब जीता। यह उनकी दूसरी वर्ल्ड रैपिड चेस चैंपियनशिप जीत है, इससे पहले 2019 में मॉस्को में भी उन्होंने यह खिताब जीता था।
कोनेरू हंपी की शानदार वापसी
कोनेरू हंपी ने 2024 में रैपिड चेस चैंपियनशिप के फाइनल में इरीन सुकंदर को हराकर यह खिताब जीता। 2019 के बाद यह उनका दूसरा वर्ल्ड रैपिड खिताब था। इससे पहले, हंपी ने 2023 में समरकंद, उज्बेकिस्तान में आयोजित वर्ल्ड रैपिड चेस चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल जीता था, हालांकि उस बार वह टाईब्रेक में रूस की अनास्तासिया बोदनारुक से हार गई थीं।

इसकी अलावा, हंपी ने पिछले साल 2023 में शानदार प्रदर्शन किया था, लेकिन 2024 में उन्होंने अपने आलोचकों को जवाब देते हुए रैपिड चेस चैंपियनशिप का खिताब जीत लिया। उनकी जीत ने भारत के लिए इस साल की प्रमुख शतरंज उपलब्धियों में एक और मील का पत्थर जोड़ दिया। इससे पहले, भारत के डी गुकेश ने 2024 में चाइना के डिंग लीरेन को हराकर क्लासिकल फॉर्मेट में विश्व चैंपियनशिप का खिताब जीता था, जिसे शतरंज जगत में एक बड़ा उपलक्ष्य माना गया।
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हंपी का रैपिड चेस करियर

कोनेरू हंपी का रैपिड चेस चैंपियनशिप में करियर बहुत ही शानदार रहा है। 2012 में उन्होंने मॉस्को इवेंट में ब्रॉन्ज मेडल जीता था, जबकि 2023 में वह उज्बेकिस्तान में सिल्वर मेडल हासिल करने में सफल रही थीं। इस बार 2024 में, हंपी ने 8.5/11 राउंड में बेहतरीन प्रदर्शन किया और रैपिड चेस चैंपियनशिप का खिताब अपने नाम किया।हंपी का यह प्रदर्शन विशेष रूप से महत्वपूर्ण था क्योंकि वह बुडापेस्ट ओलंपियाड में शामिल नहीं हो पाई थीं, जहां भारत ने ऐतिहासिक दोहरा गोल्ड मेडल जीता था। हालांकि, हंपी ने 2024 के अंत में रैपिड खिताब जीतकर अपनी शानदार वापसी की और एक बार फिर साबित किया कि वह दुनिया की बेहतरीन महिला शतरंज खिलाड़ियों में से एक हैं।
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भारत की शतरंज में बढ़ती ताकत

कोनेरू हंपी की इस सफलता ने भारत की शतरंज में ताकत को और बढ़ाया है। भारत के पास अब महिला शतरंज में दो वर्ल्ड चैंपियंस हैं—कोनेरू हंपी और तन्मय गर्ग, जिन्होंने हाल ही में क्लासिकल चेस में अपनी पहचान बनाई है। हंपी की जीत ने यह भी साबित कर दिया कि भारतीय महिला शतरंज खिलाड़ियों का वर्ल्ड स्टेज पर दबदबा लगातार बढ़ रहा है।