Kolkata Doctor Case: सीबीआई को पॉलीग्राफ टेस्ट की मिली अनुमति, एम्स की हड़ताल समाप्त

Akanksha Dikshit
By Akanksha Dikshit
kolkata doctor case

Kolkata Doctor Case: कोलकाता दुष्कर्म हत्याकांड (Kolkata Doctor Case) में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) को आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल डॉ. संदीप घोष और चार डॉक्टरों का पॉलीग्राफ टेस्ट कराने की अनुमति मिल गई है। इस टेस्ट के लिए सीबीआई ने कलकत्ता हाई कोर्ट से अनुमति प्राप्त की है। गुरुवार को कोर्ट में पेश किए गए आवेदन के बाद यह मंजूरी दी गई। सीबीआई के सूत्रों के अनुसार, कोर्ट ने पॉलीग्राफ टेस्ट कराने की अनुमति प्रदान की है। सीबीआई ने कहा है कि पूछताछ के दौरान डॉ. संदीप घोष और अन्य डॉक्टरों के बयानों में विसंगतियां पाई गई थीं। पॉलीग्राफ टेस्ट से इन बयानों की सच्चाई की पुष्टि करने और सबूतों की जांच में सहायता मिलेगी।

Read more: Wakf Amendment Bill पर पहली JPC बैठक, सरकार और विपक्ष के बीच टकराव…सदस्‍य बोले- ‘बेकार थी प्रेजेंटेशन’

हत्याकांड की पृष्ठभूमि

कोलकाता के सरकारी आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में 9 अगस्त को एक ट्रेनी डॉक्टर का शव गंभीर चोटों के साथ पाया गया था। इसके अगले दिन पुलिस ने इस मामले में एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया। मामले की गंभीरता को देखते हुए कलकत्ता उच्च न्यायालय ने 13 अगस्त को इस जांच को सीबीआई को सौंप दिया था। इसके बाद, केंद्रीय एजेंसी ने जांच कोलकाता पुलिस से अपने हाथ में ले लिया।

Read more: Sunita Williams और Butch wilmore के पास बची मात्र 96 घंटे का ऑक्सीजन, हमेशा के लिए अंतरिक्ष में फंसे रहने का डर

एम्स दिल्ली की हड़ताल समाप्त

इस बीच, सुप्रीम कोर्ट की अपील के बाद एम्स दिल्ली के डॉक्टरों ने अपनी 11 दिन लंबी हड़ताल समाप्त कर दी है और गुरुवार से ड्यूटी पर वापस लौट आए हैं। रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने एक बयान जारी कर कहा, “देश के हित और सार्वजनिक सेवा की भावना में, आरडीए, एम्स नई दिल्ली ने हड़ताल वापस लेने का निर्णय लिया है।”

बयान में यह भी कहा गया कि सुप्रीम कोर्ट की अपील और निर्देश के जवाब में यह कदम उठाया गया है। एसोसिएशन ने कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज की घटना का संज्ञान लेने और स्वास्थ्य कर्मियों की सुरक्षा के व्यापक मुद्दे को संबोधित करने के लिए सुप्रीम कोर्ट की सराहना की है। कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि स्वास्थ्य पेशेवरों को अपनी ड्यूटी पर लौटना होगा। कोर्ट ने अधिकारियों से भी कहा कि जब डॉक्टर अपने कर्तव्यों को पुनः शुरू करेंगे तो उनके खिलाफ प्रतिकूल कार्रवाई नहीं की जाएगी।

Read more: Lucknow के चर्चित श्रवण साहू हत्याकांड में 8 दोषियों को उम्रकैद की सजा, CBI की स्पेशल कोर्ट ने सुनाया फैसला

Share This Article
Exit mobile version