Haryana में INLD-BSP गठबंधन: तीसरी बार साथ आए अभय चौटाला और मायावती

Akanksha Dikshit
By Akanksha Dikshit

Haryana News: हरियाणा (Haryana) की राजनीति में बड़ा उलटफेर देखने को मिला है। आगामी विधानसभा चुनाव से पहले इंडियन नेशनल लोकदल (INLD) और बहुजन समाज पार्टी (BSP) के बीच गठबंधन हो गया है। इस गठबंधन के तहत BSP हरियाणा की 90 विधानसभा सीटों में से 37 पर चुनाव लड़ेगी। गठबंधन का नेतृत्व अभय चौटाला (Abhay Chautala) करेंगे। गठबंधन की घोषणा करते हुए अभय चौटाला ने कहा कि यह गठबंधन किसी स्वार्थ के लिए नहीं बल्कि जनता की इच्छाओं के अनुरूप किया गया है। उन्होंने भाजपा और कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि इन पार्टियों ने देश को लूटा है और जनता अब बदलाव चाहती है। उन्होंने यह भी कहा कि यह गठबंधन गैर बीजेपी और गैर कांग्रेस ताकतों को एकजुट कर सरकार बनाएगा।

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गठबंधन की भविष्य की योजना

बसपा के नेशनल कोऑर्डिनेटर और मायावती के उत्तराधिकारी आकाश आनंद ने कहा कि अगर सरकार बनती है तो अभय चौटाला मुख्यमंत्री बनाए जाएंगे। यह गठबंधन सिर्फ विधानसभा चुनाव तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि अन्य चुनावों में भी दोनों पार्टियां एक साथ लड़ेंगी। आकाश आनंद ने बताया कि 6 जुलाई को मायावती और अभय चौटाला की मीटिंग हुई थी, जिसमें गठबंधन की रणनीति पर चर्चा की गई थी।

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इतिहास में तीसरी बार गठबंधन

यह तीसरी बार है जब INLD और BSP ने गठबंधन किया है। पहली बार 1996 के लोकसभा चुनाव के दौरान दोनों पार्टियों ने हाथ मिलाया था, जिसमें INLD ने सात और BSP ने तीन लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ा था। दूसरी बार 2018 में दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन हुआ था, लेकिन यह विधानसभा चुनाव से पहले ही टूट गया था।

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कांग्रेस को बड़ा झटका

INLD और BSP के इस गठबंधन से हरियाणा की राजनीति में बड़ा बदलाव आने की संभावना है। खासकर कांग्रेस (Congress) को इसका बड़ा नुकसान हो सकता है। BSP 1989 से हरियाणा की राजनीति में अपनी किस्मत आजमा रही है। मायावती ने 1998 के लोकसभा चुनाव में इंडियन नेशनल दल के साथ गठबंधन किया था और तीन सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे, जिनमें से एक सीट पर जीत हासिल की थी। 2019 के चुनाव के लिए भी दोनों दलों ने गठबंधन किया था, लेकिन चुनाव से पहले ही यह गठबंधन टूट गया था।

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गठबंधन की रणनीति

इस बार का गठबंधन कितना सफल होगा, यह तो आने वाला समय ही बताएगा। लेकिन इस गठबंधन ने हरियाणा की राजनीति में हलचल मचा दी है। दोनों दलों के समर्थक इस गठबंधन से काफी उत्साहित हैं और उम्मीद कर रहे हैं कि यह गठबंधन प्रदेश की राजनीति में नया मोड़ ला सकेगा।

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