Pahalgam News: कश्मीर के पहलगाम में हाल ही में हुए आतंकी हमले के बाद भारत-पाकिस्तान के बीच तनाव की स्थिति को देखते हुए केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने बड़ा कदम उठाया है। मंत्रालय ने सभी टीवी चैनलों और मीडिया प्लेटफॉर्म्स के लिए एक एडवाइजरी जारी की है, जिसमें रक्षा अभियानों और सुरक्षा बलों की गतिविधियों के लाइव कवरेज से परहेज करने को कहा गया है।
एडवाइजरी में दिए गए 8 निर्देश
बताते चले कि, मंत्रालय ने 26 अप्रैल 2025 को जारी इस एडवाइजरी में मीडिया को राष्ट्रीय हित में जिम्मेदारी से रिपोर्टिंग करने की सलाह दी है। इसमें 8 स्पष्ट निर्देश शामिल हैं, जिनमें कहा गया है कि किसी भी प्रकार की लाइव रिपोर्टिंग या रियल-टाइम कवरेज सुरक्षा बलों के अभियानों की गोपनीयता और सफलता के लिए खतरा बन सकती है।
संवेदनशील सूचनाएं साझा न करें
एडवाइजरी में यह स्पष्ट किया गया है कि किसी भी प्रकार की ‘सूत्रों पर आधारित’ जानकारी या अभियानों से जुड़ी संवेदनशील सूचनाएं प्रसारित करना राष्ट्र की सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा बन सकता है। इस प्रकार की रिपोर्टिंग से शत्रु तत्वों को मदद मिल सकती है और इससे सुरक्षा बलों की जान जोखिम में पड़ सकती है।
पुराने उदाहरणों से सीखी गई सीख
मंत्रालय ने पिछली घटनाओं जैसे कारगिल युद्ध, 26/11 मुंबई हमले और कंधार अपहरण का हवाला देते हुए कहा कि उस समय मीडिया की अनियंत्रित रिपोर्टिंग से राष्ट्रहित को नुकसान पहुंचा था। इससे यह स्पष्ट होता है कि मीडिया की भूमिका बेहद जिम्मेदारीपूर्ण होनी चाहिए।
कानूनों और नियमों का पालन जरूरी
मंत्रालय ने एक बार फिर सभी मीडिया चैनलों को केबल टेलीविजन नेटवर्क (संशोधन) नियम, 2021 के नियम 6(1)(p) का पालन करने की सख्त हिदायत दी है। यह नियम साफ कहता है कि किसी भी सुरक्षा बल द्वारा चलाए जा रहे आतंकवाद विरोधी अभियान का लाइव प्रसारण नहीं किया जाएगा जब तक सरकार द्वारा नामित अधिकारी ब्रिफिंग न करें।
उच्च नैतिक मानकों का पालन करें
एडवाइजरी में यह भी कहा गया है कि राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े मामलों में मीडिया, डिजिटल प्लेटफॉर्म्स और आम नागरिकों की नैतिक जिम्मेदारी बनती है कि वे अपने कर्तव्यों का पालन करें और सुरक्षा बलों की सुरक्षा को किसी भी कीमत पर खतरे में न डालें।
नियमों के उल्लंघन पर होगी कार्रवाई
मंत्रालय ने चेतावनी दी है कि अगर कोई मीडिया प्लेटफॉर्म इन नियमों का उल्लंघन करता है, तो उसे केबल टेलीविजन नेटवर्क एक्ट के तहत कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। इसलिए सभी टीवी चैनलों और डिजिटल मीडिया को सलाह दी गई है कि वे रिपोर्टिंग करते समय पूरी सतर्कता और संवेदनशीलता बरतें।