Korean Women Rape Case :ऑस्ट्रेलिया में भारतीय समुदाय के प्रमुख नेता बालेश धनखड़ (43) को पांच महिलाओं के साथ सुनियोजित तरीके से यौन उत्पीड़न करने के मामले में 40 साल की जेल की सजा सुनाई गई है। इसमें 30 साल की गैर-पैरोल अवधि भी शामिल है। यह फैसला डाउनिंग सेंटर डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में शुक्रवार को सुनाया गया। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, कोर्ट में सजा के दौरान धनखड़ दोषी के कटघरे में बैठा रहा।
कैसे हुई थी अपराध की शुरुआत?

धनखड़ ने सिडनी में महिलाओं को फर्जी नौकरी के विज्ञापनों के माध्यम से अपने जाल में फंसाया। उसने नशीला पदार्थ देकर उन्हें अपने घर में बुलाया और फिर उनका यौन उत्पीड़न किया। यह घटना पाकिस्तान के खिलाफ ट्राई सीरीज के दौरान पाकिस्तान की पारी के 38वें ओवर में घटित हुई थी। रचिन रविंद्र ने पहली बार इस घिनौने काम को अंजाम दिया और उसे कैद कर लिया।
जांच में सामने आईं चौंकाने वाली बातें
धनखड़ ने एक एक्सेल स्प्रेडशीट में महिलाओं के विवरण, उनकी कमजोरी, उनके शारीरिक रूप और बुद्धिमत्ता के आधार पर उन्हें रेटिंग दी थी। इसके साथ ही, उसने अपनी योजनाओं को विस्तार से दर्ज किया था, जिससे यह स्पष्ट होता है कि उसने यह सब पूर्व नियोजित और पूरी तरह से चालाकी से किया था। उसके द्वारा बनाए गए वीडियो भी यौन उत्पीड़न का स्पष्ट प्रमाण थे, जिसमें उसने अपनी योजनाओं को निष्पादित किया।
न्यायालय का फैसला

न्यायाधीश माइकल किंग ने इस मामले में धनखड़ को दोषी करार देते हुए कहा कि उसका आचरण ‘पूर्व-निर्धारित, चालाकीपूर्ण और अत्यधिक हिंसक’ था। न्यायालय ने यह भी कहा कि धनखड़ की यौन संतुष्टि की उसकी इच्छा निर्दयी थी और यह अपराध पूरी तरह से निर्दोष पीड़ितों के खिलाफ किया गया था।
बालेश धनखड़ का भारतीय-ऑस्ट्रेलियाई समुदाय में सम्मान
2018 से पहले, धनखड़ को भारतीय-ऑस्ट्रेलियाई समुदाय में काफी सम्मान प्राप्त था। उसने भारतीय जनता पार्टी के एक सैटेलाइट समूह की स्थापना की थी और हिंदू काउंसिल ऑफ़ ऑस्ट्रेलिया के प्रवक्ता के रूप में भी कार्य किया था। इसके अलावा, उसने कई बड़ी कंपनियों में भी काम किया था, जैसे एबीसी, टोयोटा और ब्रिटिश अमेरिकन टोबैको।
पुलिस द्वारा गिरफ्तारी और सजा
2018 में पुलिस ने धनखड़ के सिडनी के सेंट्रल बिजनेस डिस्ट्रिक्ट में छापा मारा, जहां से डेट-रेप ड्रग्स और एक वीडियो रिकॉर्डर बरामद हुआ। 2023 में जूरी ने उसे 39 अपराधों का दोषी पाया, जिनमें 13 यौन उत्पीड़न के मामले थे।धनखड़ ने आरोपों से इनकार किया, लेकिन अदालत ने उसे दोषी ठहराया और उसे 40 साल की सजा सुनाई। यह मामला इस बात का प्रमाण है कि कानून से कोई भी ऊपर नहीं होता और ऐसे अपराधों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।