Delhi Assembly: दिल्ली विधानसभा में शुक्रवार को गहमागहमी का माहौल देखने को मिला। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) ने कानून व्यवस्था के मुद्दे पर केंद्र सरकार और गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) पर जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि दिल्ली में कानून व्यवस्था पूरी तरह से चरमराई हुई है। गैंगस्टर्स का राज चल रहा है, और अमित शाह मूकदर्शक बने हुए हैं। उन्होंने दावा किया कि पिछले 24 घंटे में राजधानी में तीन जगहों पर गोलीबारी हुई है।
केजरीवाल ने गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई (gangster lawrence bishnoi) का नाम लेते हुए कहा कि वह साबरमती जेल से अपना गैंग चला रहा है और उसे भारतीय जनता पार्टी (BJP) का संरक्षण मिला हुआ है। यह विधानसभा सत्र मौजूदा सरकार का अंतिम सत्र है, क्योंकि फरवरी 2024 में विधानसभा चुनाव होने हैं। ऐसे में सदन में पक्ष और विपक्ष पूरी तरह से एक-दूसरे पर हमलावर दिखे।
AAP का BJP पर आरोप: “बस मार्शलों को किया बेरोजगार”
आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायक कुलदीप कुमार ने विधानसभा में दिल्ली के बस मार्शलों का मुद्दा उठाते हुए भाजपा पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि दिल्ली की बसों में सुरक्षा व्यवस्था मजबूत करने के लिए बस मार्शलों की नियुक्ति की गई थी, लेकिन भाजपा ने उन्हें बेरोजगार करने का काम किया। कुमार ने कहा, “हमने बस मार्शलों की बहाली के लिए भाजपा के नेताओं से पैर तक पकड़े, लेकिन उन्होंने केवल फोटो खिंचवाने तक खुद को सीमित रखा। एलजी साहब ने भी इस मामले में कोई मदद नहीं की।”
आतिशी – “एलजी के कानों पर जूं तक नहीं रेंगी”

दिल्ली की मंत्री आतिशी (Atishi) ने बस मार्शलों की लड़ाई का समर्थन करते हुए कहा कि उपराज्यपाल (LG) ने कई बार बस मार्शलों की बहाली पर रोक लगाने की कोशिश की, लेकिन इनकी हिम्मत ने हार नहीं मानी। उन्होंने कहा, “अरविंद केजरीवाल और मैंने एलजी को कई पत्र लिखे और उनके इस फैसले का विरोध किया, लेकिन एलजी के कानों पर जूं तक नहीं रेंगी।” आतिशी ने कहा कि इस पूरे मामले में भाजपा और एलजी ने बस मार्शलों के रोजगार को खत्म करने का काम किया।
भाजपा ने किया पलटवार
विधानसभा में भाजपा ने सवाल उठाया कि पिछले एक साल से दिल्ली सरकार प्रश्नकाल आयोजित नहीं कर रही है। नेता प्रतिपक्ष विजेंद्र गुप्ता ने कहा, “विधायक अपने क्षेत्रों की समस्याएं उठाना चाहते हैं, लेकिन सरकार उन्हें बोलने का मौका नहीं देती।” इसके अलावा, भाजपा विधायकों ने सदन के नियम 280 के तहत उठाए जाने वाले मुद्दों पर स्पीकर द्वारा बिना चर्चा के पारित करने के कदम का कड़ा विरोध किया। भाजपा ने इसे लोकतंत्र का हनन बताते हुए सदन का बहिष्कार कर दिया।
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दिल्ली पुलिस पर भी सत्ता पक्ष का हमला
सदन में दिल्ली पुलिस में खाली पड़े पदों का मुद्दा भी जोर-शोर से उठाया गया। AAP विधायकों ने आरोप लगाया कि दिल्ली में अपराध का ग्राफ तेजी से बढ़ रहा है, लेकिन पुलिस कार्रवाई नहीं कर रही। उन्होंने कहा कि राजधानी में 13,507 पुलिस पद रिक्त हैं, जिससे कानून व्यवस्था चरमराई हुई है। सत्ता पक्ष ने कहा कि दिल्ली में हत्याओं, फिरौती और धमाकों की घटनाएं लगातार हो रही हैं। “अखबार हर दिन अपराध की घटनाओं से भरे रहते हैं, लेकिन पुलिस हाथ पर हाथ रखे बैठी है।”