Aadit Palicha: हाल ही में जेप्टो के सीईओ आदित पालीचा (Aadit Palicha) के “वर्क-लाइफ बैलेंस” पर किए गए पोस्ट ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक नई बहस को जन्म दे दिया है. यह बहस विशेष रूप से उस समय उभरी जब जेप्टो के कामकाजी माहौल को लेकर रेडिट पर एक पोस्ट वायरल हुआ. इस पोस्ट में कंपनी के वर्क कल्चर को लेकर गंभीर आरोप लगाए गए थे.
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पोस्ट में एक उपयोगकर्ता का दावा
बताते चले कि, पोस्ट में एक उपयोगकर्ता ने दावा किया था कि जेप्टो में कार्य संस्कृति “टॉक्सिक” (विषाक्त) है. उनका कहना था कि कंपनी में देर रात तक मीटिंग्स होती हैं, और यहां तक कि रात के दो बजे भी मीटिंग्स आयोजित की जाती हैं. यह आरोप कंपनी की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाता है, जिसमें कर्मचारियों से अत्यधिक घंटे काम करने की उम्मीद की जाती है. आरोप के अनुसार, कंपनी के सीनियर कर्मचारी ऐसे माहौल में काम नहीं करना चाहते, इसलिए उन्हें युवा और नए कर्मचारियों को नियुक्त करने का रास्ता अपनाना पड़ता है, जिन्हें कम वेतन पर काम करने के लिए राजी किया जाता है.
कर्मचारी ने क्या कहा ?
पोस्ट में एक कर्मचारी ने यह भी बताया कि कंपनी ने अपने ग्राहकों से पैसे वसूलने के कुछ संदिग्ध तरीके अपनाए हैं, विशेष रूप से उन ग्राहकों से जिनके पास महंगे स्मार्टफोन हैं. इसके अलावा, कंपनी में बड़े पैमाने पर छंटनी का संकेत दिया गया है, जिसमें मार्च में काम करने वाले कर्मचारियों को प्रभावित किया जा सकता है. इस पोस्ट में यह भी बताया गया कि अधिकांश कर्मचारी ऐसे कामकाजी माहौल में बने रहने के लिए मजबूर हैं क्योंकि उन्हें उम्मीद है कि कंपनी का आईपीओ (इनीशियल पब्लिक ऑफरिंग) आने के बाद वे कुछ वित्तीय लाभ कमा सकेंगे.
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आदित पालीचा की प्रतिक्रिया
रेडिट पोस्ट के वायरल होने के बाद, जेप्टो के सीईओ आदित पालीचा (Aadit Palicha) ने एक एक्स पोस्ट के माध्यम से अपनी प्रतिक्रिया दी. आदित ने कहा, “मुझे काम और जीवन के संतुलन से कोई आपत्ति नहीं है. मैं अपने सभी प्रतिस्पर्धियों को इसे अपनाने की सलाह देता हूं.” इस बयान के बाद सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर एक नई बहस छिड़ गई है, जिसमें लोग जेप्टो के कार्य संस्कृति के बारे में अपने विचार साझा कर रहे हैं.
आदित के बयान के बाद बहस शुरु
आदित (Aadit Palicha) के इस बयान के बाद यह बहस और तेज हो गई है कि क्या वाकई में जेप्टो का वर्क कल्चर कर्मचारियों के लिए अच्छा है या यह एक विषाक्त माहौल है. कुछ लोग आदित की बातों से सहमत हैं, जबकि कई अन्य ने कंपनी के कामकाजी माहौल पर सवाल उठाए हैं. सोशल मीडिया पर इस विषय पर कई अलग-अलग राय सामने आ रही हैं, और यह देखा जाएगा कि भविष्य में इस मुद्दे पर कंपनी की ओर से कोई और प्रतिक्रिया आती है या नहीं.
इस मामले ने इस बात को उजागर किया है कि कंपनी की कार्य संस्कृति और नेतृत्व शैली के बारे में बातचीत कितनी महत्वपूर्ण हो सकती है, खासकर जब यह किसी बड़े प्रौद्योगिकी या स्टार्टअप के संदर्भ में हो.
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