Hardoi News:उत्तर प्रदेश के हरदोई में आज भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने अपनी ही सरकार के प्रशासनिक अधिकारियों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया.जहां भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष की पत्नी की मौत के बाद भाजपा सांसद और पार्टी के नेता सिटी मजिस्ट्रेट के खिलाफ धरने पर बैठ गए. भाजपा नेताओं ने भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष की पत्नी की मौत को लेकर सिटी मजिस्ट्रेट के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की.जिसके बाद एडीएम सहित अन्य आला अधिकारी मौके पर पहुंचे और जांचकर कार्रवाई का भरोसा दिया…इसके बाद पूर्व जिलाध्यक्ष की पत्नी के शव को अंतिम संस्कार के लिए ले जाया गया।
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क्या था मामला?
शनिवार को चुनाव आयोग द्वारा लोकसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान के बाद चुनाव आचार संहिता का पालन करने के लिए सिटी मजिस्ट्रेट के नेतृत्व में होर्डिंग,झंडा,बैनर और पोस्टर आदि हटाए जाने का काम चल रहा था…इस दौरान एक पूर्व जिला अध्यक्ष के घर के बाहर लगा उनके नाम का बोर्ड उखाड़ने के बाद पूर्व जिला अध्यक्ष और सिटी मजिस्ट्रेट के बीच नोक झोंक हो गई.जिसके बाद पूर्व जिला अध्यक्ष का आरोप है कि,इस नोक झोक में सिटी मजिस्ट्रेट ने उनको जेल भेजने की धमकी दी है.इससे आहत होकर रविवार को उनकी पत्नी की मृत्यु हो गई.इस घटना के बाद भाजपा नेताओं ने सिटी मजिस्ट्रेट पर कार्रवाई की मांग को लेकर सड़क पर उतर कर प्रदर्शन किया।
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सिटी मजिस्ट्रेट को पद से हटाए जाने की मांग
नाराज होकर सांसद जयप्रकाश रावत,नगर पालिका अध्यक्ष सुखसागर मिश्र,पूर्व जिला अध्यक्ष भाजपा राम बहादुर सिंह,पूर्व जिला अध्यक्ष भाजपा रामकिशोर गुप्ता, गौ रक्षा प्रकोष्ठ के सुनील शुक्ला,पूर्व सांसद अंशुल वर्मा सहित दर्जनों भाजपाई सोमवार को हरदोई के लखनऊ मार्ग पर एकत्रित हुए और उन्होंने रास्ता जाम कर दिया.भाजपाइयों का कहना था कि,ऐसे अधिकारी को पद पर रहने का कोई अधिकार नहीं है साथ ही प्रशासन के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया और धरने पर बैठ गए।
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दिलाया कार्यवाही करने का भरोसा
भाजपा नेताओं के प्रदर्शन के दौरान मौके पर पहुंची एडीएम प्रियंका सिंह और अन्य अधिकारी ने शाम 5 बजे तक कार्रवाई करने का भरोसा दिलाया और इसके बाद नेताओं ने धरना खत्म किया.दरअसल,भाजपा के जिलाध्यक्ष और सहकारी बैंक के अध्यक्ष रह चुके विद्याराम वर्मा लोकतंत्र सेनानी भी हैं।