Abhinav Bindra on Vinesh Phogat Verdict Postpone: विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) मामले में लगातार तीसरी बार फैसला टलने से पूरा भारत निराशा में है. अब यह फैसला 16 अगस्त को रात 9:30 बजे सुनाया जाएगा. इस मुद्दे पर ओलंपिक गोल्ड मेडल विजेता निशानेबाज अभिनव बिंद्रा (Abhinav Bindra) ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है और सभी से धैर्य बनाए रखने की अपील की है.
अभिनव बिंद्रा (Abhinav Bindra) ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए लिखा, “जब किसी महत्वपूर्ण काम में देरी होती है, तब हम सभी को निराशा होती है. आज जब हम विनेश फोगाट मामले में CAS के फैसले में देरी के बारे में बात कर रहे हैं, तब भी हमें ऐसी ही निराशा का सामना करना पड़ रहा है. एथलीट्स के लिए, हर चार साल इसी इंतजार में गुजरते हैं कि एक बार फिर ओलंपिक्स में हिस्सा लेने का मौका मिल जाए. इस वक्त पूरा भारत भी उसी भावना को महसूस कर रहा है.”
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खेलों में सिर्फ प्रदर्शन नहीं, बल्कि धैर्य की भी होती है परीक्षा
बताते चले कि अभिनव बिंद्रा (Abhinav Bindra) ने अपने पोस्ट में खेलों के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि खेल सिर्फ मैदान पर होने वाले प्रदर्शन तक सीमित नहीं होते. खेलों में इंतजार, धैर्य और आगे बढ़ने की दृढ़ता भी अहम होती है. उन्होंने कहा, “इसलिए हम सभी 16 अगस्त का इंतजार करेंगे. याद रखें कि हमारे एथलीट्स किन कठिन परिस्थितियों से गुजरकर यहां तक पहुंचते हैं, और इसी सोच के साथ उनका मनोबल बढ़ाएं। हमें यह समझना होगा कि यह एक लंबी लड़ाई है, और इसमें सबका साथ जरूरी है.”
अभिनव बिंद्रा का गौरवशाली इतिहास
गौरतलब है कि अभिनव बिंद्रा (Abhinav Bindra) ने 2008 के बीजिंग ओलंपिक्स में 10 मीटर एयर राइफल प्रतिस्पर्धा में भारत को गोल्ड मेडल दिलाया था. वे शूटिंग में ओलंपिक मेडल जीतने वाले पहले भारतीय एथलीट बने थे. बिंद्रा की इस उपलब्धि ने उन्हें भारत के सबसे सम्मानित एथलीट्स में शामिल कर दिया है, और उनका संदेश सभी के लिए प्रेरणा का स्रोत बन सकता है.
खेल प्रेमियों के साथ-साथ पूरे देश में निराशा
विनेश फोगाट (Vinesh Phogat) खेल प्रेमियों के साथ-साथ पूरे देशमामले में फैसले की देरी ने खेल प्रेमियों के साथ-साथ पूरे देश को निराश किया है, लेकिन अभिनव बिंद्रा (Abhinav Bindra) के संदेश से यह उम्मीद है कि लोग धैर्य बनाए रखेंगे और इस महत्वपूर्ण मामले में न्याय का इंतजार करेंगे. यह वक्त है जब सभी को एकजुट होकर अपने एथलीट्स का समर्थन करना चाहिए, ताकि वे आने वाले कठिन मुकाबलों के लिए तैयार रह सकें.
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